अगले साल डिजीटल हो जाएगा सीआईसी का कामकाज

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तेज और प्रभावी कार्य परिस्थितियां निर्मित करने की दिशा में उठाये गये एक बड़े कदम के तहत केंद्रीय सूचना आयोग अगले वर्ष एक जनवरी से कामकाज के डिजीटल स्वरूप की व्यवस्था को अपना लेगा।

आयोग ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि वे आयोग की मौजूदा कार्यप्रणाली को उन्नत बनाकर उसे अर्द्ध न्यायिक गतिविधियों के लिये कागज रहित स्वरूप देने के मकसद से एक समय सीमा निर्धारित करें।

मुख्य सूचना आयुक्त ए.एन. तिवारी ने कहा है कि पहले कदम के तहत आयोग के केंद्रीय पंजीयक को मिलने वाली सभी शिकायतें और अपीलें स्कैन होने के बाद डिजीटल स्वरूप में परिवर्तित कर दी जायेंगी।

तिवारी ने निर्देश दिये कि इसके बाद केंद्रीय पंजीयक द्वारा यह डिजीटल स्वरूप संबंधित सूचना आयुक्तों के पंजीयकों को भेज दिया जायेगा और वे भी डिजीटल तरीके से ही उसका निपटारा करेंगे।

इस प्रक्रिया का सूचना आयुक्त शैलेष गांधी एक परियोजना के आधार पर इस्तेमाल कर रहे हैं। वर्तमान में अपीलों और शिकायतों को सूचना आयुक्तों के कार्यालय के मुताबिक छांट दिया जाता है और कागजी स्वरूप में उन्हें संबंधित कार्यालयों में भेज दिया जाता है। बड़ी तादाद में आने वाली अर्जियों का रिकॉर्ड बनाये रखने में काफी समय खर्च होता है और इससे शिकायतें तथा अपीलें संबंधित सूचना आयुक्तों के पास पहुंचने में देरी हो जाती है।

एक अक्टूबर को मुख्य सूचना आयुक्त बनने के बाद तिवारी ने आश्वस्त कराया था कि केंद्रीय पंजीयक की कार्यक्षमता को बढ़ाना उनकी शीर्ष प्राथमिकता में रहेगा।

आयोग ने अपनी हालिया बैठक में फैसला किया कि जब तक प्रक्रिया निर्बाध नहीं हो जाती तब तक केंद्रीय पंजीयक का विभाग रसीदें भौतिक स्वरूप में भेजना जारी रखेगा।

सूचना आयुक्त एम.एल. शर्मा और शैलेष गांधी ने केंद्रीय पंजीयक के कामकाज के बारे में अपनी रिपोर्ट सौंपी थी। इस रिपोर्ट में उन्होंने कहा था कि केंद्रीय पंजीयक विभाग में पर्याप्त कर्मचारी हैं और डाक से संबंधित सभी डायरी कार्य मौजूदा कर्मचारियों द्वारा नहीं कर पाने का कोई कारण नहीं है। विभाग में औसतन प्रतिदिन 300 डाक आती हैं।

समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि मौजूदा कर्मचारी डेटाबेस में 400 से 475 डाक प्रतिदिन दर्ज करा सकते हैं। समिति की सिफारिशों को मंजूर कर लिया गया था और केंद्रीय पंजीयक विभाग को निर्देश दिये गये थे कि सभी बुनियादी सुविधाएं मुहैया करायी जायें।