Wednesday, December 25, 2024
spot_img
HomeFARRUKHABAD NEWSनसीमुद्दीन ने मायावती पर लगाए बड़े आरोप

नसीमुद्दीन ने मायावती पर लगाए बड़े आरोप

लखनऊ: उत्तर प्रदेश के पूर्व कैबिनेट मंत्री एवं बहुजन समाज पार्टी (बसपा) से निष्कासित नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कहा कि मुझे झूठे आरोप लगाकर पार्टी से निकाला गया. मायावती ने मुझे काफी उल्टा-सीधा कहा. मायावती ने कांशीराम के बारे में जो कहा मैंने उसका विरोध किया था. मैंने मायावती को हार के कारणों के बारे में बताया था जिस पर वह नाराज हो गई थीं. यही नहीं मायावती ने मुझसे पैसे की मांग की. पार्टी को 50 करोड़ रुपये की जरूरत है. मैंने कहा कि मैं कहां से लाऊं तो बोलीं अपनी प्रोपर्टी बेच दो. मैंने कहा कि अगर मैं अपनी प्रोपर्टी बेच भी दूंगा तो 50 करोड़ का चौथाई भी हो जाए तो बड़ी बात है. मैंने ये भी कहा कि नोटबंदी के बाद अगर प्रोपर्टी बेचूंगा तो भी कैश नहीं मिलेगा. लेकिन पार्टी हित के लिए मैं ये भी तैयार हूं. इसके बाद मैं अपने दोस्तो-रिश्तेदारों से कहा कि कुछ करें. पार्टी के लोगों से कहा कि मेरी प्रोपर्टी बिकवा दो. जब थोड़ा पैसा इकट्ठा हो गया तो मैंने बहनजी को कहा कि पैसा इकट्ठा हो गया है.
प्रेस कॉन्फ्रेंस में कही खास बातें
मैंने मायावती से कहा कि जिन कांशीराव ने पार्टी की नींव रखी, जिन्होंने आपको राजनीति सिखाई, उनके बारे में आपने गलत बोला. ये कार्यकर्ताओं को अच्छा नहीं लगा. इस पर मायावती ने कहा कि मैं तुम्हारे खिलाफ कार्यवाही करूंगी.
चुनावों में हार के बारे में पूछा तो मैंने मायावती को घोषणापत्र जारी करने की सलाह दी थी
हार का एक कारण मैंने उन्हें बताया था कि आपने मंच से किसी प्रत्याशी के लिए वोट नहीं मांगा
मैंने यह भी कहा कि आप लोगों से मिलती नहीं है, आपको लोगों से मिलना चाहिए
आपकी सुरक्षा का मैंने हमेशा ख्याल रखा, लेकिन जो अब हो रहा है वो कभी नहीं हुआ
आप पैन, घड़ी सब रखवा लेती हैं, सतीश चंद्र मिश्रा की गाड़ी के लिए तुरंत गेट खुल जाता
तलाशी हो रही है तो सबकी होनी चाहिए. मायावती नेताओं में भेदभाव करती हैं
मुझसे 50 करोड़ की मांग की गई
मायावती के अब राज्यसभा की सांसद बनने के भी लाले
मायावती खुद चाहती हैं कि पार्टी खत्म हो जाए ताकि कोई और पार्टी में खड़ा न हो पाए
मायावती नहीं चाहतीं कि कोई और दलित चेहरा सीएम बने
मुझे गलती बताए बिना सजा सुना दी गई
मायावती ने मेरा पक्ष सुने बिना ही सजा सुना दी
मैंने कौन सी पार्टी विरोधी गतिविधियां की बताओ तो सही

सिद्दीकी ने बयान में कहा है, ‘मैं समझता हूं कि इस निष्कासन से मेरे व मेरे परिवार की और मेरे सहयोगियों की बहुजन समाज पार्टी में 34-35 साल की कुबार्नी का सिला मुझे दिया गया है. मैंने इस मिशन के लिए और मायावती के लिए खासतौर पर इतनी कुबार्नी दी है, जिसकी मैं गिनती नहीं कर सकता.’ नसीमुद्दीन ने आरोप लगाया, ‘मायावती, उनके भाई आनंद कुमार और सतीश चंद्र मिश्रा द्वारा अवैध रूप से, अनैतिक रूप से और मानवता से परे कई बार ऐसी मांगें की गईं, जो मेरे बस में नहीं थीं. कई बार मुझे मानसिक प्रताड़ना दी गई, टार्चर किया गया. जिसके पुख्ता प्रमाण मेरे पास हैं.’ नसीमुद्दीन ने कहा, ‘2009 और 2014 के लोकसभा चुनाव और 2012 व 2017 के विधानसभा चुनाव में पार्टी को मायावती की गलत नीतियों के कारण सफलता नहीं मिली. उन्होंने मुसलमानों पर गलत झूठे आरोप लगाए.’ उन्होंने कहा, ‘2017 के चुनाव से काफी पहले से मैंने पार्टी के लिए जो प्रयास किए, उसी का नतीजा था कि बसपा को 22 प्रतिशत से अधिक वोट मिले. नहीं तो स्थिति और बदतर होती. शिकस्त के बाद मायवती ने मुझे बुलाया और अपर कास्ट, बैकवर्ड को बुरा-भला कहने के साथ ही खासतौर पर मुसलमानों के लिए अपशब्द कहे, जिसका मैंने विरोध किया था.’

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments