फर्रुखाबाद: बाढ़ का नाम लेते ही घटियाघाट पुल के दूसरी तरफ बसे कई दर्जन गांवों की हालत आंखों के सामने घूम जाती है। प्रशासन बाढ़ को नियंत्रित करने के लिए कितने भी हाथ पैर मार ले लेकिन फिर भी कर्मचारियों और ठेकेदारों की लापरवाही से आखिर पानी गांवों को अपनी चपेट में ले लेता है। इस समय शहर में इधर से उधर बाढ़ से निजात दिलाने के लिए दरबार पर दरबार लग रहे हैं। लेकिन जो नतीजा सामने है वह बाकई में भयावह हो सकता है। तकरीबन 15 दिन पूर्व राजेपुर क्षेत्र के कड़क्का बांध पर ठेकेदारों द्वारा बोरी में बालू भरकर बांध बनाया गया था। लेकिन बाढ़ आने से पहले ही पूरा का पूरा बांध ही बहता नजर आ रहा है। जिससे राजेपुर क्षेत्र के दर्जनों गांव चपेट में आ सकते हैं।
ठेकेदारों और कर्मचारियों की लापरवाही के चलते कड़क्का बांध की स्थिति जर्जर हो चुकी है। जिससे दर्जन भर से अधिक गांव के निवासियों की रातों की नींद हराम हो गयी है। बाढ़ किसी भी वक्त तबाही मचाने के लिए तैयार है लेकिन प्रशासन की तरफ से बांध को सुधारने का कोई काम नहीं किया जा रहा है। कड़क्का के ग्रामीण अली फरियाद, मगनलाल, संतकुमार, बीरपाल, टिंकू आदि ने बताया कि जिस समय ठेकेदार बांध पर तटबंध बना रहे थे उसी दौरान हम लोगों ने इसका विरोध भी किया था और कहा था कि इस तरह की खानापूरी से काम नहीं चलेगा। लेकिन ठेकेदारों की मनमानी के आगे हम लोगों की एक न चली। जिसका नतीजा आज 15 दिन में ही सामने आ गया। अभी बाढ़ आ भी नहीं पायी और तटबंध कट गया। फिलहाल प्रशासन की तरफ से अभी कोई ठोस कदम नहीं उठाये गये हैं।