रसोइया बना क्लर्क, मरीजों को खाने के नाम पर मात्र दो पैकेट दूध

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फर्रुखाबाद: पिछले दो माह से अधिक समय से लोहिया अस्पताल के महिला बार्ड में भोजन न बनने का मुख्य कारण महिला सीएमएस डा0 सुमन सिंह अस्पताल में रसोइये का न होना बताकर वाकायदा मरीजों को दूध व ब्रेड बंटवा रही हैं। ऊपर के आदेश व बजट न होने के नाम पर यह घालमेल जारी है।

लोहिया अस्पताल में कहने को तो कुक या रसोइया के पद पर मुन्ना लाल की तैनाती रही परंतु वास्तव में बीते दो दशकों से अधिक समय से स्वास्थ्य विभाग में रसोइए का काम ममता देख रही थी। मुन्ना का लिपिक वर्ग में प्रमोशन होने के बाद ममता को ठेकेदार से विवाद होने की बजह से हटा दिया गया  और उसकी तैनाती डा0 अचला, डा0 पूनम शर्मा, डा0 शोभा मिश्रा, डा0 अदिति श्रीवास्तव के कक्ष के बाहर गेटकीपर के तौर पर कर दी गयी है। सुबह से लेकर शाम तक रसोइया ममता मरीजों को डाक्टर तक पहुंचाने का काम करती है। लेकिन महिला सीएमएस सुमन सिह ने सभी मरीजों के सामने यह फरमान जारी कर दिया कि अस्पताल में रसोइये के अभाव की बजह से खाना नहीं बन रहा है।

सीएमएस महिला डा. सुमन सिह ने बताया कि पुराना टेंडर आचार संहिता के कारण निरस्त कर दिया गया था। अभी नये वित्तीय वर्ष का टेंडर नहीं हुआ है। उन्होंने बताया कि मरीजों को खाने के लिये फिलहाल केवल दूध ब्रेड ही दिया जा रहा है। यह पूछे जाने पर कि जब पुरूष अस्पताल में खाना मिल रहा है तो आपके यहां क्यों नहीं मिल रहा? इस पर उन्होने रसोइये के प्रोमोशन का किस्सा सुना दिया।