लखनऊ: उत्तर प्रदेश में बढ़ते वायु प्रदूषण पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बेहद गंभीर हैं। लखनऊ में शुूक्रवार को उन्होंने अफसरों को हर हाल में वायु प्रदूषण कम करने के निर्देश दिए।लोकभवन में बैठक में अफसरों से उन्होंने कहा कि वायु प्रदूषण फैलाने वालों पर सख्ती की जाए। स्मॉग पर अफसरों की फटकार लगाते हुए कहा कि जो उपाय समय पर अपनाने चाहिए थे वह नहीं अपनाए गए। जिस स्तर के प्रयास होने चाहिए थे वह नहीं हुए। प्रदेश के कई हिस्सों में पराली जलाने की घटनाएं हो रही हैं। मंडलायुक्त अपने-अपने मंडल में दैनिक समीक्षा करें। किसानों के साथ गोष्ठी कर उन्हें जागरूक किया जाए।
लखनऊ सहित यूपी के प्रमुख शहरों में पिछले कुछ दिनों से छाए स्मॉग को देखते हुए मुख्यमंत्री ने शुक्रवार रात वायु प्रदूषण के मसले पर अफसरों की बैठक बुलाई। उन्होंने कमिश्नर व डीएम के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर कहा कि वायु प्रदूषण के लिए जो भी जिम्मेदार हैं उनके खिलाफ कड़े कदम उठाए जाएं। प्रदूषण फैलाने वाले कारक जैसे पराली जलाना, कूड़ा जलाना, निर्माण कार्यों की धूल, जेनरेटर के धुएं आदि को सख्ती से रोका जाए। धूल उडऩे वाले स्थानों पर पानी का नियमित छिड़काव किया जाए। मुख्यमंत्री ने कूड़ा जलाने की घटनाओं का संज्ञान लेते हुए नगर विकास विभाग के अफसरों पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि कूड़ा जलाने पर प्रतिबंध लगाया जाए। इसके लिए रात में पेट्रोलिंग की जाए। सीएम ने जिलाधिकारियों से शहरों में कूड़े का उचित निस्तारण सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पीलीभीत सहित कई जिलों में पराली जलाने की घटनाएं सामने आई हैं। कृषि विभाग के अफसरों को इस पर भी प्रतिबंध लगाने के निर्देश दिए। जहां ट्रैफिक जाम की समस्या है वहां स्थिति ठीक की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि नगर निगम व विकास प्राधिकरण मिलकर प्रदूषण की समस्या को दूर करें। साथ ही अन्य विभाग समन्वय कर इस दिशा में काम करें।
मुख्यमंत्री ने बागपत, हापुड़, मेरठ, बुलंदशहर, कानपुर, लखनऊ व वाराणसी के जिलाधिकारियों से उनके द्वारा वायु प्रदूषण की रोकथाम के लिए उठाए गए कदमों की जानकारी ली। इससे पहले पर्यावरण विभाग के अफसरों ने मुख्यमंत्री को बताया कि यूपी के प्रमुख शहरों में जो स्मॉग आया है वह दिल्ली की देन है। पंजाब में भी पराली जलाने की घटनाओं से वायु प्रदूषण की स्थिति इतनी खराब हुई है।
पराली को कंपोस्ट में तब्दील करने की संभावनाएं तलाशें
मुख्यमंत्री ने कृषि अफसरों को पराली को कंपोस्ट में तब्दील करने की संभावनाएं तलाशने के निर्देश दिए और कहा कि किसानों को खेतों में पराली जलाने से जमीन की उत्पादकता पर पडऩे वाले कुप्रभाव से अवगत कराया जाए। किसानों को जागरूक करने के लिए अभियान चलाया जाए।