रामपुर: अखिलेश यादव सरकार में कद्दावर मंत्री रहे रामपुर से समाजवादी पार्टी के सांसद आजम खां की गिरफ्तारी संभव है। उनके खिलाफ जमीन कब्जा करने के दो दर्जन से अधिक मुकदमे दर्ज हैं। रामपुर में भू माफिया घोषित होने के बाद से रामपुर नहीं आने वाले आजम खां के खिलाफ वहां पर मनी लॉर्डिंग की भी जांच जारी है।
रामपुर के पुलिस अधीक्षक एसपी डॉ. अजय पाल शर्मा ने कहा कि सांसद आजम खां के खिलाफ जो धाराएं लगी हैं, वह तो उनकी गिरफ्तारी के लिए काफी हैं। रामपुर में मौलाना जौहर यूनिवर्सिटी के चांसलर तथा समाजवादी पार्टी के सांसद आजम खां लोकसभा चुनाव 2019 के बाद से ही मुश्किलों में हैं। उनके खिलाफ दो दर्जन से अधिक किसानों ने जमीन कब्जा करने का मुकदमा दर्ज कर रखा है। इसके बाद उनको रामपुर में भू-माफिया घोषित किया गया है। जौहर अली यूनिवर्सिटी के लिए किसानों की जमीन जबरन हड़पने को लेकर आजम के खिलाफ किसानों ने 26 मुकदमे दर्ज कराए हैं। यह सभी किसान अब आजम खां की गिरफ्तारी की मांग तथा अपने मामले में न्याय की खातिर इलाहाबाद हाई कोर्ट की शरण में हैं।
किसानों की ओर से लगातार दर्ज हो रहे मामलों के बाद अब रामपुर शहर कोतवाली में आजम समेत चार लोगों पर शत्रु संपत्ति का मामला दर्ज किया गया है। नायब तहसीलदार की तरफ से दर्ज इस मामले में आरोप लगाया गया है कि जौहर विश्वविद्यालय ट्रस्ट और आज़म खान को फायदा पहुंचाने के लिए ईओ ने कागजों में हेराफेरी कर गलत नोटिस जारी किया। वहीं सपा सांसद आजम खां पर दो मुकदमे महिलाओं पर अभद्र टिप्पणी के भी हैं। इनमें भी जो धाराएं लगी है वो उनकी गिरफ्तारी के लिए काफी हैं। भू-माफिया घोषित होने के बाद वह करीब एक माह से गृह जनपद रामपुर नहीं आए हैं। आमतौर पर शनिवार और रविवार को अपने पैतृक निवास रामपुर में ही बिताते थे। लोकसभा चुनाव में जया प्रदा को हराने वाले आजम खां पर अब किसानों की जमीन, नदियों की जमीन कब्जा करने का आरोप है। इसके बाद सरकार ने उन्हें भू माफिया भी घोषित कर दिया था।
आजम खां पर 2003 से लेकर 2005 के बीच 26 किसानों की जमीन जबरन हड़पने और उसे जौहर अली यूनिवर्सिटी परिसर में शामिल करने का गंभीर आरोप है। सभी किसानों ने जमीन हड़पे जाने के मामले में हाल ही में रामपुर के अजीम नगर थाने में सपा सांसद के खिलाफ आईपीसी की धारा 323, 242, 447, 506 और 389 के तहत मुकदमा दर्ज कराया है। आजम खां के खिलाफ जमीन हड़पने के मामले के साथ कुल 27 मुकदमे अब तक दर्ज हो चुके हैं। 26 मुकदमे किसानों की ओर से दर्ज कराए गए हैं, जबकि एक मुकदमा राज्य सरकार की ओर से राजस्व निरीक्षक ने दर्ज कराया है, इसमें भी उन पर जमीन हड़पने का आरोप लगाया गया है।आजम के समर्थन में सड़क पर सपाई
रामपुर में सांसद आजम खां के खिलाफ हो रही कार्रवाई के विरोध में शुक्रवार को सपाई एकजुट होकर समर्थन में उतरे। कानून व्यवस्था के खिलाफ प्रदेशव्यापी धरना प्रदर्शन कर सपाइयों ने अपनी ताकत का अहसास कराया। रामपुर आते वक्त सांसदों को पहले रोका गया, उसके बाद लोक निर्माण विभाग के गेस्ट हाउस में ले जाया गया। इन सभी ने गांधी समाधि पर धरना देकर चेतावनी दी कि पुलिस प्रशासन आजम खां और सपाइयों का उत्पीडऩ करना बंद करे वर्ना अंजाम अच्छा नहीं होगा। पांच बजे तक चले धरने में सम्भल के सांसद डॉ. शफीकुर्रहमान बर्क ने कहा कि खून दे देंगे पर आजम खां पर आंच नहीं आने देंगे। मुरादाबाद के सांसद डॉ.एसटी हसन ने कहा कि आजम खां को बेइज्जत कर पूरे देश के मुसलमानों को अपमानित करने की कोशिश की जा रही है। आजम खां के विधायक पुत्र अब्दुल्ला आजम खां ने एसडीएम सदर प्रेम प्रकाश तिवारी को ज्ञापन दिया।
एक बार फिर आजम के अंदाज में बोले अब्दुल्ला
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव एवं सांसद आजम खां धरने में मौजूद नहीं थे, लेकिन उनके बेटे विधायक अब्दुल्ला आजम ने उन्हीं के अंदाज में शुक्रवार को तकरीर कर कार्यकर्ताओं में जोश भर दिया। कहा कि हम फर्जी मुकदमों और गिरफ्तारी से डरने वाले नहीं हैं, जब चाहें गिरफ्तार कर लें, लेकिन हमारी तादात इतनी है कि प्रशासन हमारे लोगों को खिलाते-खिलाते परेशान हो जाएगा। हम चंदा कर अपने लोगों की जमानत कराएंगे। उन्होंने कहा कि चंद लोग शिकायतें करा रहे हैं और फर्जी मुकदमे करा रहे हैं, हम चाहते हैं कि ये लोग उप चुनाव लड़कर देख लें, ताकि इन्हें अपनी औकात पता चल सके। उन्होंने नवाबों पर भी निशाना साधा। कहा कि नवाबी दौर में रामपुर में आठवीं से ज्यादा पढऩे की इजाजत नहीं थी। उनकी सड़कों पर भी आम आदमी को चलने नहीं दिया जाता था। आजम खां ने गरीबों और कमजोरों के लिए स्कूल और यूनिवर्सिटी बनवा दीं। इसी से वे परेशान हैं।