लखनऊ : बसपा के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद सतीश चंद्र मिश्र की जेड श्रेणी सुरक्षा को लेकर मंगलवार को दिनभर ड्रामा चला। दिन में उनकी सुरक्षा हटा ली गयी, लेकिन मीडिया में इस खबर के उजागर होने पर गृह विभाग ने इसका खंडन कर दिया। शाम को उनकी सुरक्षा बहाल कर दी गयी। विशेष सचिव गृह राकेश चंद्रा ने पत्रकारों के बीच आकर सफाई दी कि मिश्र की सुरक्षा हटाई नहीं गयी है। उनकी जेड श्रेणी सुरक्षा यथावत रहेगी।
काफी समय से सतीश चंद्र मिश्र को जेड श्रेणी सुरक्षा मिली है। इस सुरक्षा में घर पर पांच सिपाहियों की गार्द तैनात रहती है, जबकि बाहर जाने पर उनके साथ एक स्कोर्ट, पीएसओ और छह पुलिसकर्मी तैनात रहते हैं। मंगलवार की सुबह मिश्र के यहां सुरक्षाकर्मी नहीं पहुंचे तो जांच-पड़ताल शुरू हुई। सम्बंधित अधिकारियों से पता करने पर बताया गया कि शासन से उनकी जेड श्रेणी सुरक्षा हटा ली गयी है। यह खबर मीडिया में आते ही गृह विभाग के प्रवक्ता ने मीडियाकर्मियों को एसएमएस भेजकर सुरक्षा हटाये जाने का खंडन किया। करीब तीन बजे उनके आवास पर सुरक्षाकर्मी पहुंच गये। शाम को एनेक्सी के मीडिया सेंटर में होने वाली ब्रीफिंग में विशेष सचिव गृह राकेश चंद्रा ने जेड श्रेणी सुरक्षा यथावत रहने की जानकारी दी।
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उल्लेखनीय है कि 22 जून को पुलिस अधीक्षक (प्रशिक्षण एवं सुरक्षा) द्वारा अधिकारियों को सूबे के माननीयों और अति महत्वपूर्ण लोगों की सुरक्षा की जो सूची भेजी गयी, उसमें सतीश चंद्र मिश्र का नाम नदारद था। जेड श्रेणी की सूची में दस लोगों का नाम था, जिसमें सर्वोच्च न्यायालय के अधिवक्ता अजय कुमार अग्रवाल की जेड श्रेणी वापस कर ली गयी थी। जेड श्रेणी की सूची में नरेश अग्रवाल, श्रीप्रकाश जायसवाल, लालजी टंडन, एसयू खान, सुधीर अग्रवाल, धर्मवीर शर्मा, मोहम्मद आजम खां, शिवपाल सिंह याद और प्रमोद तिवारी ही जेड श्रेणी के लिए अधिकृत थे। इसमें भी धर्मवीर शर्मा प्रदेश भ्रमण के दौरान ही जेड श्रेणी के लिए अधिकृत किये गये थे।