Tuesday, April 22, 2025
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सपा नेता जग्गू-चन्नू सहित पांच के खिलाफ अपहरण का मुकदमा

फर्रुखाबाद:(जेएनआई ब्यूरो) छात्र नेता अखंड प्रताप सिंह के हत्यारोपित सपा नेता दो भाइयों सहित पांच के खिलाफ अपहरण का मुकदमा पंजीकृत किया है| पुलिस मामले में पड़ताल कर रही है|
शहर के बद्री विशाल डिग्री कॉलेज में दिन दहाड़े सन 2000 में छात्र नेता अखंड प्रताप सिंह निवासी धीरपुर मोहम्मदाबाद की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। मामले में उनके बड़े भाई रावेंद्र सिंह राठौर ने देवेंद्र यादव उर्फ जग्गू और योगेंद्र यादव उर्फ चुन्नू निवासी लोको कॉलोनी व दो अन्य आरोपियों के खिलाफ कोतवाली फर्रुखाबाद में हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था। रावेंद्र अपने भाई के हत्यारों के खिलाफ लगातार पैरवी कर रहे थे। 2015 में एक्सीडेंट में घायल होने के बाद मुकदमे की पैरवी नहीं कर पाए। 2000 में स्वास्थ्य सही होने पर पुनः उच्च न्यायालय में पैरवी शुरू की। जिससे नाराज होकर आरोपियों ने 2020 में रावेंद्र का अपहरण कर लिया। उनके पुत्र से रंगदारी वसूल की। तब से पीड़ित काफी भयभीत था। सरकार माफिया के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत कार्रवाई तेज की। जग्गू का गैंगस्टर एक्ट में जेल भेजा। इसके बाद हिम्मत जताकर पीड़ित ने मुकदमा दर्ज कराया।
कोतवाली फतेहगढ़ में दर्ज कराए मुकदमे में रावेंद्र सिंह राठौर ने बताया है कि 7 मार्च 2000 को दिनदहाड़े उनके छोटे भाई अखण्ड प्रताप की हत्या कर दी गई थी। जिस मामले में फर्रुखाबाद कोतवाली में दर्ज मुकदमे की वह लगातार पैरवी कर रहे थे। 2015 में एक सड़क दुर्घटना में वह गंभीर रूप से घायल हो गए। जिससे मुकदमे की पैरवी नहीं कर पाए। 2016 में न्यायालय ने एकतरफा फैसला सुना दिया। 2000 में स्वास्थ्य सही होने पर हिम्मत व संसाधन जताकर उच्च न्यायालय इलाहाबाद के समक्ष पेश हुए और मुकदमे की पुनः समीक्षा करवाने की अर्जी दी| जिसकी जानकारी जग्गू और चुन्नू को हुई। तो अलग-अलग ढंग से धमकाना शुरू कर दिया। पीड़ित के घर, खेत पर अज्ञात लोगों को भेज कर रिट वापस लेने के लिए दबाव बनाना शुरू किया। पीड़ित ने जब इसका विरोध किया और लगातार धमकियां से परेशान होकर अधिकारियों से शिकायत करने के लिए 3 फरवरी 2000 को अपने घर से पुत्र कीर्तिवर्धन के साथ बाइक से जा रहा था। तभी सेंट्रल जेल चौराहे से फतेहगढ़ जाते समय काश्तकार कोल्ड स्टोरेज से पहले एक सफेद रंग की बड़ी गाड़ी से देवेंद्र यादव उर्फ जग्गू उसका भाई योगेंद्र यादव उर्फ चुन्नू, आर्यन यादव पुत्र योगेंद्र यादव निवासी लोको कॉलोनी, पवन कटियार उर्फ मोनू निवासी भोलेपुर, एक अज्ञात आया। पीड़ित की बाइक को रोक कर गाड़ी में बैठा लिया। बेटे को धमकाया कि तेरा चाचा तो मार दिया तेरा बाप भी नहीं रहेगा। बाप को बचाना चाहता है तो अपील की फाइल और जो खर्च तेरे बाप ने करवाया है। उसका ₹2,लाख लेकर लोको आ जाना। शाम साढ़े सात बजे बजे पुत्र अपील की फाइल और 1,3,0000 रुपए लेकर लोको पहुंचा। गिड़गिड़ा कर पिता को छुड़वाने की मिन्नत की। 1,30000 रुपए और रिट फाइल जग्गू के हाथ में दिए। इसके बाद आरोपियों ने पीड़ित उसके बेटे को जमकर पीटा और गला भी घोटा और फिर दोबारा ऐसी हिमाकत नहीं करने की हिदायत देकर भगा दिया। घटना के बाद पीड़ित और उसका परिवार काफी भयभीत रह रहा था। डर की वजह से घटना का किसी से जिक्र नहीं किया। राज्य सरकार ने जब माफियाओं के खिलाफ मुहिम तेज की और जग्गू को गैंगस्टर एक्ट में जेल भेजा तब पीड़ित को न्याय की उम्मीद जगी। जैसे-तैसे हिम्मत जताकर शिकायत की। कोतवाल फतेहगढ़ सत्य प्रकाश ने बताया कि मुकदमा पंजीकृत कर लिया गया है| मुकदमे की विवेचना की जारी है।

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