Monday, December 23, 2024
spot_img
HomeFARRUKHABAD NEWSकोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है

कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है

फर्रुखाबाद:(जेएनआई ब्यूरो) गंभीर रचनाएं सोचने को मजबूर करेंगी तो हास्य व्यंग्य ठहाकों के बीच लोगों का उस ओर ध्यान आकर्षित करेंगे, जहा सिर्फ एक कवि या शायर की दिव्य दृष्टि ही जा सकती है। सस्वर रचना पाठ से माहौल में सागीतिक रंग घोलने की भी हर संभव कोशिश हुई। कवि सम्मेलन के माध्यम से शहर के लोगों के बीच कुमार विश्वास ने ऐसा ही खूबसूरत साहित्यिक माहौल पैदा किया। अंतरराष्ट्रीय कवि कुमार विश्वास ने मेला रामनगरिया पंडाल में समां बांध दिया। भीड़ उन्हें ही देखने व सुनने पहुंची थी। कुमार दो घंटे तक मंच पर बोले। देशहित के लिए राजनेताओं को झकझोरा। ‘कोई दीवाना कहता है.’ कविता पर पूरा पंडाल झूम उठा। इसी कविता के इंतजार में श्रोता बैठे हुए थे। इसी इंतजार में उन्होंने कुछ कवियों को हूट भी किया।
रात बजे से 11 बजे शुरू हुए कवि सम्मेलन में आने वालों में गजब का उत्साह देखा गया। शायद यह पहला अवसर था कि कवि सम्मेलन में लोग इतनी बड़ी संख्या में मौजूद रहे। इससे मंचासीन कवि कुमार विश्वास का उत्साह बढ़ता रहा। श्रोताओं में महिलाओं और युवाओं के अलावा अधिकारियों और कर्मचारियों की भी अच्छी खासी उपस्थिति बनी रही। इससे यह साबित हो रहा था कि शहर का मिजाज बदल रहा है। कवि और साहित्यकार को लोग सुनने और जानने में पीछे नहीं हैं। बहरहाल, कवि सम्मेलन शुरू हुआ तो फिर देर रात तक चलता रहा। कुमार विश्वास नें काव्य पाठ किया कि नेताओं पर भी मजाकिया टिप्पणी की| उन्होंने  जहां एक ओर अपनी कविताओं से श्रोताओं का दिल जीत लिया। वहीं उन्होंने मौजूदा हालातों पर भी चुटकी ली। मोहब्बत के साथ सियासत और सियासतदारों की बात भी की, जिसने उनके चाहने वालों को हंसने और ठहाके लगाने पर भी मजबूर कर दिया। इसके बाद अपनी वह प्रसिद्ध कविता सुनाई, जिसे सुनने के लिए सब बेचैन थे। यह कविता थी-कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है, मगर धरती की बेचैनी को बस बादल समझता है। मैं तुझसे दूर कैसा हूं, तू मुझसे दूर कैसी है। ये तेरा दिल समझता है या मेरा दिल समझता है। इस कविता के बाद श्रोताओं ने खड़े होकर उनका अभिवादन भी किया। उन्होंने कहा हिन्दू, मुस्लिम, सिख, ईसाई यह मजहब हो सकते है लेकिन भारत एक संस्कृति है|  कविता के माध्यम से अध्यात्म पर भी चर्चा की| कविता के माध्यम से मोदी पर भी तंज कसते हुए बोला कहा कि पुरानें नोट जोशी जी और लाल कृष्ण में बदल गये| सांसद मुकेश राजपूत, नगर मजिस्ट्रेट दीपाली भार्गव आदि प्रमुख रूप से रहे|

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments