फर्रुखाबाद:(जेएनआई न्यूज) शासन ने टिड्डी दल के संभावित आक्रमण को देखते हुए पहले से तैयारी के जिला प्रशासन को निर्देश दिए है। इस संबंध में जिला कृषि रक्षा अधिकारी नें पत्रजारी कर जिले में एलर्ट घोषित कर दिया| ताकि किसानों को फसलों को इससे होने वाले नुकसान से बचाया जा सके। इसके लिए उन्होंने खेत में तेज आवाज करने की सलाह दी है जिससे टिड्डी दल भाग जाता है।
सयुक्त राष्ट्र के खाद्य एवं कृषि संगठन से जारी पूर्वानुमान के आधार पर राजस्थान में इस वर्ष फिर टिड्डी दलों के आक्रमण की संभावना व्यक्त की गई है। जिसे देखते हुए शासन ने बीते वर्ष की तरह इस वर्ष भी इससे बचाव की पर्याप्त तैयारी के निर्देश जारी किए गए है। ताकि आकस्मिक आक्रमण की दशा में बचाव के समुचित प्रयास किए जा सके और किसानों को होने वाले नुकसान से बचाया जा सके। शासन ने प्रचार प्रसार कर ग्रामीणों व किसानों को इसके प्रति जागरूक करने करने के निर्देश दिए है। इसके लिए कृषि विभाग नें ब्लाक व जनपद स्तर पर सर्वेक्षण टीम गठित की गयी है|
किसानो को बताये गये टिड्डी से बचाव के यह उपाय
फर्रुखाबाद में टिड्डी दल के सम्भावित प्रकोप को देखते हुए यह उपाय बचाए गये है| टिड्डी दल के प्रभाव को कम करने के लिए उनके आक्रमण के दौरान एक साथ एकत्र होकर टीन के डिब्बों, थालियों, ढोल नगाड़ों, डीजे आदि बजा तेज आवाज करने का सुझाव दिया है। इससे टिड्डी दल आसपास खेतों में बैठ नहीं पाएगा। जिससे नुकसान की संभावना कम होगी। इसके साथ ही नीम तेल की 40 एमएल की मात्रा एक टंकी में डालकर 10 ग्राम कपड़े धोनें का पाउडर मिलाकर छिडकाब करें|
बलुई मिट्टी में जलभराव की जरूरत
सुझाव में यह भी कहा गया है कि टिड्डी बलुई मिट्टी में प्रजनन व अंडा देते हैं। जो इनके लिए सर्वाधिक अनुकूल होती है। ऐसी दशा में ऐसे क्षेत्रों की जोताई व जलभराव करा इससे बचा जा सकता है। इसके लिए किसानों के सहयोग की भी जरूरत है।
जिला कृषि रक्षा अधिकारी डॉ० राकेश कुमार सिंह नें बताया कि टिड्डी दल के आने की सम्भावना है| लिहाजा सभी किसान साथी पूरी तरह से सजग रहें और बचाव के तरीके अजमायें|