Saturday, January 11, 2025
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महिला दिवस विशेष: महिला उद्द्यमी ने फर्रुखाबाद में लगाईं सेनेटरी नैपकिन फैक्ट्री

फर्रुखाबाद:महिला दिवस 2018 के अवसर पर केंद्र सरकार की आईटी मिनिस्ट्री द्वारा संचालित सीएससी ई गवर्नेंस सर्विसेज इंडिया लिमिटेड के प्रोजेक्ट “स्त्री स्वाभिमान” के तहत एक सेनेटरी नैपकिन यूनिट की स्थापना की जा रही है जिसमे तैयार नैपकिन्स सरकारी स्कूलों में निशुल्क वितरित की जाएगी| इस यूनिट को फर्रुखाबाद की महिला उद्द्यमी डॉली दीक्षित द्वारा सीएससी के सहयोग द्वारा स्थापित किया जा रहा है|

महिला उद्द्यमी द्वारा स्थापित उद्योग में 50000 नैपकिन्स प्रतिदिन निर्माण की क्षमता

महिला उद्द्यमी द्वारा स्थापित सेनेटरी नैपकिन कारखाने में Icare ब्रांड नाम से बनने वाली नैपकिन जेल तकनीक पर अल्ट्राथिन और 90 ml तक तरल पदार्थ सोखने की क्षमता वाली होगी| एको फ्रेंडली नैपकिन उपयोग में लाने के बाद ३ माह में नष्ट हो जाएगी जिससे प्रयावरण को नुक्सान भी नहीं पहुचेगा| इस कारखाने में 50000 नैपकिन प्रतिदिन तैयार करने की मशीन लगाई गयी है|
यूनिट की पूरी क्षमता इस्तेमाल के लिए सरकार से मांगी 1 एकड़ जमीन
वैसे तो सीएससी द्वारा स्थापित की जा रही इस यूनिट में 50000 नैपकिन प्रतिदिन तैयार करने की मशीन लगाई गयी है मगर जगह कम होने की वजह से यूनिट की क्षमता का 20 प्रतिशत ही इस्तेमाल हो सकेगा| नैपकिन यूनिट की पूर्ण क्षमता उपयोग में लाने के लिए गत मात उत्तर प्रदेश इन्वेस्टर समिट 2018 लखनऊ में प्रतिभाग करने गयी उद्द्यमी डॉली दीक्षित ने 1 एकड़ जमीन की मांग भी की है| फिलहाल इस यूनिट को किराए के भवन में संचालित किया जायेगा| नैपकिन का उत्पादन अप्रैल माह में शुरू हो जायेगा|
महिला के लिए, महिला के द्वारा और महिलाओ को समर्पित उद्दयम
फर्रुखाबाद में पहली बार कोई कारखाना पूर्ण रूप से महिलाओ को समर्पित होगा| महिला उद्द्यमी डॉली दीक्षित ने बताया कि महिलाओ की स्वास्थ्य सुरक्षा की द्रष्टि से स्थापित की जा रही इस यूनिट में 90 फ़ीसदी महिलाओ को काम दिया जायेगा| नैपकिन बनाने में महिलाओ को ही वरीयता के तौर पर 90 फीसद रोजगार महिलाओ को ही दिया जायेगा| यही नहीं इस उद्दयम में वितरण का कार्य भी 1100 वितरण केन्द्रों के माध्यम से किया जायेगा| हर गाँव में एक जागरूक महिला को डीलर नियुक्त किया जायेगा| ताकि गाँव की बहु बेटियों को सेनेटरी नैपकिन प्राप्त करने में कोई हिचक या संकोच न रहे|
नए भारतीय मानक ब्यूरो के अनुरूप तैयार होगी नैपकिन-
अभी तक सेनेटरी नैपकिन निर्माण के लिए 1990 का मानक का पालन किया जा रहा है| जिसमे नैपकिन की सोखने की क्षमता 30 ml तरल पदार्थ सोखने की क्षमता होनी चाहिए थी| किन्तु वर्ष २०१७ में नए मानक का मसौदा तैयार किया गया है जिसके अनुसार नैपकिन ६०ml तरल पदार्थ सोखने की क्षमता होनी चाहिए| हालाँकि इस मानक पर भारतीय मानक ब्यूरो ने एक साल से लंबित होने के बाबजूद अभी मुहर नहीं लगाई है फिर भी सीएससी के इस कारखाने में तैयार नैपकिन किसी भी बहुराष्ट्रीय कम्पनी द्वारा तैयार नैपकिन से बेहतर तो होगी ही उचित मूल्य पर भी उपलब्ध होगी| इस कारखाने में तैयार बड़ी नैपकिन 90 ml तक तरल पदार्थ सोखने की क्षमता वाला होगा| यही नहीं इसकी कीमत भी कम होगी ताकि समाज के हर वर्ग को उपलब्ध सके और परंपरागत पुराने कपडे के उपयोग से होने वाले रोगों से बचा जा सके| नैपकिन पूर्ण रूप से अंतरराष्ट्रीय मानको के अनुरूप तैयार होगी|

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