लखनऊ : नैनी जेल से कचहरी इलाहाबाद पेशी के लिए ले जाये जा रहे दस बंदियों के फरार होने के बाद उप निरीक्षक संजय कुमार, आरक्षी विजय सिंह, कृष्णपाल सरोह, अजय कुमार पाण्डेय समेत पांच पुलिसकर्मियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। पुलिस महानिरीक्षक कानून-व्यवस्था राजकुमार विश्वकर्मा ने बताया कि पेशी के लिए ले जाये जा रहे वाहन में चार पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगी थी, लेकिन एक ही आरक्षी वाहन में बैठा था। यह अक्षम्य लापरवाही है और जांच के बाद इन्हें भी बर्खास्त किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि इस मामले में प्रतिसार निरीक्षक की भूमिका की भी जांच होगी और सख्त से सख्त कार्रवाई की जायेगी।
नैनी केंद्रीय कारागार में बंद कैदियों को आज पुलिस अभिरक्षा में जिला अदालत पेशी के लिए जेल वाहन से ले जाया रहा था। तभी शहर के बालसन चौराहे के पास दस कैदी पुलिसकर्मियों को चकमा देकर वाहन से कूदकर फरार हो गए।
इलाहाबाद के पुलिस अधीक्षक (शहर) शैलेश कुमार यादव ने बताया कि जो कैदी भागे हैं, उसमें से अधिकतर हत्या के आरोप थे। कुछ तो कुख्यात अपराधी थे, जिन पर एक दर्जन से ज्यादा आपराधिक मामले दर्ज थे। उन्होंने कहा कि पुलिस की टीमें गठित कर फरार कैदियों को पकड़ने के लिए अभियान शुरू कर दिया गया है।
यादव ने कहा कि निश्चित तौर पर यह घोर लापरवाही का मामला है। जो पुलिसकर्मी कैदियों को पेशी के लिए लेकर आ रहे थे, उनके खिलाफ कारवाई होगी। घटना की जांच के आदेश दे दिए गए हैं।
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