सपा समर्थकों ने व्यापारियों को थाने में घुसकर पीटा, पुलिस ने पीड़ित का चालान किया

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शमशाबाद (फर्रुखाबाद): दुकान को लेकर विगत तीन दिनों से चल रहे विवाद ने रविवार को उग्र रूप धारण कर लिया। विवाद में मारपीट के बाद थाने में शिकायत करने पहुंचे व्यापारियों को सपा समर्थकों ने थाने के भीतर घुसकर धुन दिया और पुलिस देखती रह गयी। इतना ही नहीं पुलिस की मूक सहमती से पीटने वाला नरेन्द्र सिंह यादव भाग भी गया| घटना से आक्रोषित व्यापारियों ने कस्बे का बाजार बंद करा दिया है। मजे की बात ये है की मामला मीडिया में आने के बाद पुलिस ने अन्य अरोपियो के साथ दो पीडितो का भी चालान कर दिया| आरोप है कि सपा समर्थक जीतेन्द्र यादव व्यापारी मोहन रस्तोगी का किरायेदार है और दूकान पर कब्ज़ा करना चाहता है| मामला अदालत में है| पीडितो ने आरोप लगाया है कि थानेदार ने 50 हजार रुपये लेकर ठेका लिया और छुट्टी पर चले गए| दरोगा राम रेखा यादव थानेदार के ठेके को जारी रखे हैं|

विदित है कस्बे में मुख्य बाजार रानी मंदिर के पास स्थित एक दुकान के स्वामित्व को लेकर मोहल्ला दुबे निवासी श्रीप्रकाश रस्तोगी तथा नीवलपुर निवासी उदयबीर यादव के बीच विगत तीन दिनों से विवाद चल रहा था। मौजूदा समय में दुकान पर उदयबीर किरायेदार है। जिसे वो अब खोलते नहीं है| व्यापारी मोहन रस्तोगी और उदयवीर के बीच मामला न्यायालय में विचाराधीन है। विवाद के चलते गुरुवार को भी दोनो पक्षों में मारपीट हुई थी। जिसमें श्रीप्रकाश व उनका पुत्र गोविंद रस्तोगी घायल हो गये थे।

घटना के सम्बंध में श्रीप्रकाश ने थाने में तहरीर दी थी। तहरीर के अनुसार उदयबीर व उनके पुत्र नरेन्द्र व जितेन्द्र बाजार कला निवासी अबधेश के साथ पहुंचे व मुकदमें में समझौता करने को दबाव बनाया। मना करने पर गालीगलौज करते हुए दुकान से खींचकर पीटने लगे। पुलिस ने श्रीप्रकाश की तहरीर पर चारो नामजद आरोपियों के विरुद्व एनसीआर दर्ज कर अपने कर्तव्यों की इतिश्री कर ली। दूसरी ओर उदयबीर के अधिवक्ता पुत्र जितेन्द्र यादव ने भी श्रीप्रकाश व उनके पुत्र गोविंद आदि के विरुद्व मारपीट करने का प्रार्थनापत्र दिया था।

राजेन्द्र यादव व मोहन रस्तोगी के बीच विवाद के चलते माहौल तनावपूर्ण बना हुआ था। रविवार को प्रातः बाजार खुलने के समय मामला मारपीट तक पहुंच गया। दोनो पक्ष मारपीट के बाद थाने पहुंचे। यहां पर बातचीत के दौरान ही मोहन यादव के समर्थकों ने थाने के भीतर घुसकर मोहन रस्तोगी व गोपाल रस्तोगी की जमकर धुनाई कर दी। मजे की बात है कि पूरे घटनाक्रम को पुलिस तमाशे की तरह देखती रही और आखिर आरोपी घटना को अंजाम देकर फरार हो गये।

समाचार लिखे जाने तक आरोपी पुलिस की पहुंच से दूर है। घटना को लेकर कस्बे में तनाव व्याप्त है। व्यापारियों ने घटना के विरोध में बाजार बंद कर दिया। दोपहर बाद मीडिया के शिकंजा कसने के बाद दोनों पक्षों का शांति भंग की आशंका में चालान किया गया| पीड़ित व्यापारियो ने आरोप लगाया कि सपा की सर्कार बनते ही गुंडई बढ़ गयी| ऐसा ही रहा तो जीना हराम हो जायेगा| पुलिस और सपा समर्थक मिलकर व्यापारियो को परेशान करेंगे|