फर्रुखाबाद:(नगर संवाददाता) गुरु पूर्णिमा को लेकर शहर के पांचाल गंगा घाट का नजारा शनिवार को बदला-बदला रहा। अल सुबह से ही गंगा स्नान के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ गंगा तट पर उमड़ पड़ी। काफी संख्या में श्रद्धालु दूरदराज से देर रात को ही घाट पहुंच गए थे। सुबह गंगा स्नानार्थियों की भीड़ से गंगा तट पटा पड़ा रहा। हजारों लोगों ने आस्था की डुबकी लगायी। साथ ही विधि-विधान पूर्वक पूजा अर्चना भी की। वहीं श्रद्धालुओं को खराब यातायात व्यवस्था केचलते जाम का सामना भी करना पड़ा| इस दौरान कोरोना प्रोटोकाल का कही भी पालन होता नजर नही आया| श्रद्धालुओं की भीड़ में कोराना का भय नहीं देखा गया।
गुरू पूर्णिमा के मौके पर हजारों श्रद्धालुओं ने गंगा में आस्था की डुबकी लगाई। भोर पहर से शुरू हुआ स्नान देर शाम तक चलता रहा। दूर-दराज से चलकर आने वाले श्रद्धालुओं का दिनभर तांता लगा रहा। इस दौरान हर हर गंगे के जयघोष से गंगा के सारे घाट गूंजते रहे। स्नान करने के बाद श्रद्धालुओं ने बड़े ही विधि विधान से मां गंगा का पूजन अर्चन किया। इस दौरान धूप, दीप, अक्षत, रोली, चंदन, पुष्प, दूध, दही, शहद, घृत व नैवेद्य समर्पित कर लोगों ने मां गंगा से सुख और समृद्धि की कामना की। विधि विधान से श्रद्धालुओं को पूजन अर्चन कराने वाले आचार्यो ने बताया कि गुरू पूर्णिमा स्नान का विशेष महत्व होता है। इस दिन गंगा स्नान करने वाले भक्तों के सारे कष्ट दूर हो जाते है। उन्हें सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है। उन्होंने बताया कि पूर्णमासी के दिन भगवान सत्यनारायण की कथा सुनने से सारी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
नाव वालों की रही चांदी
गंगा स्नानके दौरान नाव वालों ने श्रद्धालुओं की खूब जेब हल्की की। गंगा में नाव से सैर सपाटा करने के लिए नावों वालों ने प्रति व्यक्ति 20-30 रुपए वसूले। इस दौरान श्रद्धालुओं ने भी पैसे का मुंह छोड़कर गंगा में नाव पर परिवार संग खूब आनन्द लिया।
जमकर हुई खरीदारी
पूर्णमासी स्नान के बाद लोगों ने जमकर खरीदारी की। महिलाओं व युवतियों ने घाट किनारे सजी दुकानों में खरीदारी की इसके बाद वहां पर लगी चाट आदि की दुकानों में घूम-घूम कर खाने का लुत्फ उठाया। चिमटी, बिंदी की सजी दुकानों में महिलाओं व युवतियों ने एक से एक आइटम खरीदे। इस दौरान दुकानदारों ने हर माल के मनमाफिक पैसे वसूले।
घाटों पर रही भीड़ पुल पर रहा जाम
पुलिस की यातायात व्यवस्था भीड़ के आगे चरमरा गयी| जिससे आने जाने वाले रहागीरों और श्रधालुओं को घंटो जाम की झाम झेलनी पड़ी| जिससे वह पसीने-पसीने नजर आये| नये रिक्रूटो के सहारेव्यवस्था दे दी गयी| वह मोबाइल चलाते दिखे| जिसका खामियाजा आम जनता को झेलना पड़ा|