विशेष: मुख्यमंत्री के वादे के इन्तजार में सिरोली की जनता

FARRUKHABAD NEWS

फर्रुखाबाद: आजादी के 73 साल बाद आज युवाओ में जागरूकता की कोई कमी नहीं है| प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी भ्रष्टाचार को समाप्त करने के लिए सरकारी तंत्र के भरोसे न रहकर जनता से भी भागीदारी करने की अपील आज 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले से की है| सरकार बदलने के साथ ही व्यवस्था बदलने की कवायद भी शुरू हुई है| ऑनलाइन जनशिकायत के साथ साथ हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया है| जन शिकायत पोर्टल को गाँव का आम आदमी भी चलाने लगा है और पिछले 70 साल की चरमरायी भ्रष्ट व्यवस्था के खिलाफ हर रोज कोई न कोई शिकायत कर रहा है| सुनवाई न होने या फर्जी निस्तारण को भी अब युवा आँख दिखाने लगा है| पिछले दिनों सुर्खियों में आई शौचालय दर्शा कर घोटाला करने की शिकायत हो या बेसिक शिक्षा में फैला भ्रष्टाचार चर्चा में अब आने लगा है| ऐसा ही एक प्रकरण और इन दिनों सुर्खियों में जब जिले की सबसे बड़ी ग्राम पंचायत मोहम्दाबाद ब्लाक की सिरोली के गाँव नवादा निवासी लाल जी ठाकुर अपने इलाके की सड़क बनाने की मांग करने सीधे उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री से मिलने पहुच गए| मुख्यमंत्री ने आश्वासन तो दे दिया है, अब परीक्षा जिला प्रशासन की है कि वे मुख्यमंत्री की बात को पूरा कर पाते है या फिर फजीहत कराते है?

5000 की आवादी वाला गाँव सिरोली लगभग एक दर्जन गाँव और मजरों की जिले की सबसे बड़ी ग्राम पंचायत है| आजादी के बाद ऐसा नहीं है कि इस गाँव के लिए कोई फंड नहीं आया मगर उसका जनता के हित में कितना उपयोग किया गया ये बड़ा गौर करने लायक है| सरकारी ट्यूबवेल लगने आया तो निवर्तमान प्रधान में वहां लगवाया जहाँ उनकी खेती थी| गाँव के गरीब और छोटे किसानो की उपेक्षा ही हुई| जमीनों के पट्टे से लेकर सरकारी इमदाद में आम और गरीब जनता की जरुरत को ध्यान देने की जगह सत्तासीन नेताओ में खुद के हितो को वरीयता दी| मगर इसमें कोई दो राय नहीं कि जबसे योगी और मोदी की सरकार आई है कुछ उम्मीद जगी है और इसी उम्मीद में जन शिकायत पोर्टल पर शिकायत और सड़क की मांग करने वाला नवादा निवासी लाल जी ठाकुर योगी जी के दरबार में दस्तक दे आया|

लालजी की मांग सार्वजानिक है| सिरोली नवादा मार्ग का निर्माण| इस रास्ते पर छोटे बड़े एक दर्जन से ज्यादा गाँव पड़ते है जिसका फायदा लगभग 35000 की आबादी को मिलना है|  एक साल पहले इसी मार्ग के खस्ताहाल होने के कारण एक स्कूल बस पलट गयी थी| गनीमत थी कि लोग और बच्चे केवल घायल हुए थे किसी की मौत नहीं हुई थी| हो भी जाती तो प्रशासन का कोई हरकारा ज्यादा से ज्यादा मुआवजा देकर फोटो खीच लाता, अलबत्ता दुर्घटना दुबारा न हो इसके लिए कोई सोच नहीं| जिले की सबसे बड़ी ग्राम पंचायत में सरकारी महकमे के तैनात कर्मियों की सोच सिर्फ खुद को सम्पन्न बनाने से आगे न बढ़ी| अलबत्ता लाल जी ठाकुर ने जन सुनवाई ऑनलाइन पोर्टल पर सड़क की मांग करना शुरू की| मगर जैसा की होता है इनके साथ भी हुआ| शिकायत का निस्तारण तो हुआ मगर समस्या का निदान नहीं| जिले की यही स्थिति हर विभाग की है| डिफाल्टर होने के बाद जब मीटिंग में जिलाधिकारी की डांट पड़ती है तो एक रात में ही बैठ कर एक सैकड़ा शिकायत निस्तारित हो जाती है| ध्यान रहे निस्तारित होने और समस्या जिसके लिए शिकायत की गयी उसके निदान होने में फर्क है| निस्तारण हो रहा है निदान नहीं| इसी आदत को सही करने की अपील प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने लाल किले से आज की है|

लालजी ठाकुर पेशे से ठेकेदार है, खुद की गाड़ी है और सक्षम भी लिहाजा सीधे मुख्यमंत्री के दरबार पहुच गए, वर्ना कितने वहां तक पहुच पाते| अधिकारी के डांटने भर से काम होने वाला नहीं है| रिश्वत खोरी में हिस्सा भी त्यागना पड़ेगा तभी अधीनस्थ पर शिकंजा कसा जा सकेगा| सुना है कि अब तो मुख्यमंत्री भी इमानदार है, ऊपर भेजना भी नहीं है, फिर क्यों नहीं रिश्वतखोरी में कमी आ रही अब युवा को इसी मुद्दे पर लड़ना होगा| लालजी ठाकुर लड़ गए और मुख्यमंत्री को पूरी दास्तान बता दी| स्कूल बस पलटने से लेकर शिकायतों के फर्जी निस्तारण तक का हवाला गिना दिया| मुख्यमंत्री ने अब 13 सितम्बर तक का वक्त सड़क निर्माण शुरू करने का दे दिया है| बस इन्तजार जनता को यही है कि समाजवादी गढ़ वाले इलाके में सड़क का निर्माण 13 सितम्बर तक शुरू हो पाता है या फिर फाइल चल रही है का हवाला देकर पुरानी परम्परा कायम रखी जाती है| असल परीक्षा अब जिला प्रशासन की है?