J&K सरकार के कुछ मंत्रियों को सेना ने दिए पैसे: वीके सिंह

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Gernal VK Singhनई दिल्ली। पूर्व सेनाध्यक्ष जनरल वीके सिंह ने सेना से जुड़ा एक और दावा कर हलचल मचा दी है। वीके सिंह ने दावा किया है कि जम्मू-कश्मीर सरकार की स्थिरता के लिए कई मंत्रियों को सेना ने पैसे दिए हैं। जनरल वी के सिंह ने दावा किया कि इस तरह की चीजें आजादी के बाद होती रही हैं। जनरल सिंह के मुताबिक सूबे की स्थिरता को लेकर कुछ मंत्रियों और लोगों को पैसे दिए जाते हैं।

जनरल सिंह के मुताबिक कश्मीर प्रीमियर लीग को जम्मू कश्मीर सरकार नहीं, सेना पैसा देती है। पूर्व सेनाध्यक्ष ने कहा कि सेना जम्मू और कश्मीर के कुछ मंत्रियों को धन देती है क्योंकि राज्य में शांति बनाए रखने के लिए कई तरह के काम करने होते हैं। वीके सिंह ने कहा कि कश्मीर बिल्कुल अलग मुद्दा है। कई काम किए जाते हैं, वहां कई सिविल और युवाओं के कार्य करने होते हैं। इनके लिए धन की जरूरत होती है। कुछ पैसा इन कार्यों के लिए दिया जाता है। इसमें दिक्कत कहां है।
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वीके सिंह खुलासा करें: शिंदे

वहीं गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे ने कहा कि अगर वीके सिंह ऐसे मंत्रियों के नाम का खुलासा करें तो जांच करवाई जा सकती है।

सीबीआई मामले को देखे: फारूख

वहीं, नेशनल कांफ्रेंस सुप्रीमो और केंद्रीय मंत्री फारुख अब्दुल्ला ने कहा कि सेना के फंड के राजनीतिक दुरुपयोग की बात सुनकर मैं बहुत दुखी हूं। सेना को गैर राजनीतिक होना चाहिए। सीबीआई को इस मामले को देखना चाहिए। आर्मी फंड पर कोई सवाल नहीं उठाए जा सकते, लेकिन अब समय आ गया है कि इसके इस्तेमाल पर सवाल जरूर उठाए जाने चाहिए।

गुलाम हसन से इस्तीफा लें: राणा

नेशनल काफ्रेंस के एमएलसी देवेंदर सिंह राणा ने कहा कि मुख्यमंत्री को गुलाम हसन मीर से इस्तीफा ले लेना चाहिए, जिन पर ये आरोप लगा है कि वी के सिंह के यूनिट टीएसडी से पैसे लिए थे ताकि जम्मू कश्मीर सरकार को गिरा सके। वी के सिंह ने कहा था कि और भी मंत्री थे जिन्होंने पैसे खाए थे, उनके नाम का भी खुलासा होना चाहिए।

दरअसल, पूर्व आर्मी चीफ जनरल वी के सिंह पर एक अंग्रेजी अखबार के हवाले से संगीन इल्जाम लगाए गए हैं। उन पर जम्मू कश्मीर सरकार के तख्तापलट की साजिश रचने, बिक्रम सिंह को सेनाध्यक्ष बनने से रोकने की साजिश और गैरकानूनी खुफिया ऑपरेशन को अंजाम देने की कोशिश और मिलिट्री इंटेलिजेंस के पैसे का बेजा इस्तेमाल करने का आरोप लगा। अंग्रेजी अखबार ने मिलिट्री ऑपरेशंस के डीजी लेफ्टिनेंट जनरल विनोद भाटिया की कमान में की गई जांच का हवाला दिया है।