स्मारक संरक्षण समिति के कुल 33 पद जल्द ही समाप्त कर दिए जाएंगे। नतीजतन राजधानी व नोएडा बने स्मारकों व पार्कों की देखरेख से 4368 कर्मचारियों को हटाकर अन्य कामों में लगा दिया जाएगा।
रह जाएंगे 774 कर्मचारी
लिहाजा इस कार्य के लिए अब 774 कर्मचारी ही शेष रह जाएंगे। इसके लिए प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है। वर्तमान में स्मारकों व पार्कों की साफ-सफाई में करीब 3300 कर्मचारी लगे हैं, जिन्हें अब 350 तक सीमित कर दिया जाएगा।
जबकि यहां अन्य कार्य कर रहे 1842 कर्मचारियों को 424 तक करने का प्रस्ताव है।
गौरतलब है कि स्मारक संरक्षण समिति की नियमावली में डेपुटेशन के नियम को शामिल करने के साथ कर्मचारियों को कम करने की कवायद 10 महीने से चल रही है।
[bannergarden id=”8″][bannergarden id=”11″]
‘गैरजरूरी है इनकी संख्या’
डीएम की अध्यक्षता में गठित कमेटी ने इस आशय की रिपोर्ट शासन को भेजी थी कि स्मारक व पार्को की देखरेख में लगे कर्मचारियों को अन्य विभागों में भेजा जाना उचित होगा क्योंकि यहां इतने कर्मचारियों की कोई आवश्यकता नहीं है।
इन विभागों में लगेगी ड्यूटी
जिन महकमों में कर्मचारी भेजे जाएंगे, उनमें नगर निगम, सिंचाई एलडीए, पीडब्ल्यूडी, संस्कृति विभाग, पर्यटन, राज्य संपत्ति विभाग और पावर कॉर्पोरेशन मुख्य रूप से शामिल हैं।
33 पद होंगे निरस्त
निचले पायदान के ज्यादातर कर्मचारी ही जाएंगे डेपुटेशन पर स्मारक संरक्षण समिति में महाप्रबंधक, प्रबंधक, सहायक प्रबंधक के अलावा कुछ वित्तीय अधिकारियों के पदों को छोड़कर 33 पदों को समाप्त कर दिया जाएगा। ऐसे में निचले पायदान पर कार्यरत ज्यादातर कर्मचारियों को दूसरे महकमे में जाना होगा।
इन कर्मचारियों का कहना है कि जो लोग वास्तव में काम कर रहे हैं, उनके पद समाप्त किए जा रहे हैं। यह घोर अन्याय है।