लखनऊ : एनआरएचम घोटाले में सीबीआई ने यूपी में शुक्रवार को 22 जिलों के 30 स्थानों पर छापेमारी की है| सीबीआई ने एनआरएचएम घोटाले के तहत दवाओं की आपूर्ति के संबंध में चार नए मामले दर्ज किए| आरोप है कि एनआरएचएम के तहत ठेका देने में फर्जी दस्तावेज बनाए गए और इसके जरिए जमकर धांधली की गई| तकरीबन सभी ठेकों में घटिया सामान की आपूर्ति की गई और इसका इस्तेमाल किया गया. सरजीकोइन नाम की कंपनी को ठेका देने की आड़ में बड़े स्तर पर घोटाले को अंजाम दिया गया|
कई बड़े दवा सप्लायर सीबीआई के निशाने पर
सीबीआई लखनऊ, कानपुर, देवरिया, बस्ती, बहराइच, बनारस, गाजीपुर, मेरठ समेत कुल 22 जिलों में छापेमारी कर रही है| दवा सप्लायर गुड्डू खान के ठिकानों पर भी छापेमारी की जा रही है| गुड्डू खान से सीबीआई कई बार पहले भी पूछताछ कर चुकी है| गुड्डू खान ने ही पूछताछ में एमएलसी राम प्रसाद जायसवाल का नाम लिया था| सीबीआई की 30 टीमें छापेमारी के काम में जुटी हुई हैं| बनारस में भी सीबीआई एक बड़े दवा सप्लायर महेंद्र पाण्डेय के ठिकानों पर छापेमारी कर रही है. महेंद्र भी पूर्वांचल के बड़े दवा सप्लायरों में एक है|
फर्रुखाबाद के विधायक और पूर्व स्वास्थ्य मंत्री अन्टू मिश्रा के करीबी शिकंजे में
महेंद्र को पूर्व मंत्री अन्टू मिश्रा का बेहद करीबी माना जाता रहा है| सूत्र बताते हैं कि बनारस में महेंद्र पाण्डेय एवं मानवेंद्र चड्ढा दवा के बड़े सप्लायरों में से एक थे| इसके पहले मानवेंद्र के यहां भी सीबीआई ने छापेमारी की थी| अब मानवेंद्र के प्रतिस्पर्धी महेंद्र पाण्डेय के ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है| कहा जाता है कि अन्टू मिश्रा के मंत्री रहने तक स्वास्थ्य विभाग में महेंद्र पाण्डेय की खूब चलती थी| सीएमओ की अपने तरीके से पोस्िटंग कराकर ये लोग अपने तरीके से दवाओं की आपूर्ति करते थे|