लखनऊ: उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा आयोग की ओर से की जाने वाली राजस्व लेखपालों की भर्ती के लिए ट्रिपल ‘सी’ सर्टिफिकेट अनिवार्य नहीं होगा। लेखपालों की भर्ती के लिए शासन ने ट्रिपल ‘सी’ सर्टिफिकेट को अनिवार्य न करने का फैसला किया है। लेखपाल भर्ती के लिए पहले की तरह इंटरमीडिएट उत्तीर्ण ही अनिवार्य शैक्षिक योग्यता होगी। शासन के इस फैसले के बाद लेखपाल भर्ती में शैक्षिक योग्यता को लेकर गतिरोध समाप्त हो गया है। शासन के फैसले के क्रम में राजस्व परिषद लेखपाल भर्ती के लिए जल्द ही नए सिरे से अधीनस्थ सेवा आयोग को प्रस्ताव भेजने जा रहा है।उप्र राजस्व परिषद ने अधीनस्थ सेवा चयन आयोग को राजस्व लेखपालों के 7882 रिक्त पदों पर भर्ती के लिए पहले जो प्रस्ताव भेजा था उसमें चयन के लिए इंटरमीडिएट उत्तीर्ण होने के साथ अभ्यर्थी के कंप्यूटर ज्ञान को दर्शाने वाला ट्रिपल ‘सी’ सर्टिफिकेट भी अनिवार्य कर दिया गया था। ट्रिपल सी यानी कोर्स ऑन कंप्यूटर कॉनसेप्ट्स 80 घंटे का कोर्स है। इस कोर्स का सर्टिफिकेट पाने के लिए अभ्यर्थी को राष्ट्रीय इलेक्ट्रॉनिकी एवं सूचना प्रौद्योगिकी संस्था (एनआइईएलआइटी) की ओर से आयोजित की जाने वाली परीक्षा उत्तीर्ण करनी होती है|वहीं लेखपालों की सेवा नियमावली में अनिवार्य शैक्षिक योग्यता सिर्फ इंटरमीडिएट उत्तीर्ण ही थी। इस विसंगति को दूर करने के उद्देश्य से अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने राजस्व विभाग को लेखपालों की भर्ती के लिए सेवा नियमावली में भी ट्रिपल ‘सी’ सर्टिफिकेट को अनिवार्य करने का अनुरोध किया था। राजस्व विभाग ने इस पर मंथन किया और पाया कि ट्रिपल ‘सी’ सर्टिफिकेट को अनिवार्य करने से बड़ी संख्या में ग्रामीण पृष्ठभूमि के अभ्यर्थी इस चयन प्रक्रिया से वंचित रह जाएंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी इस पर अपनी मुहर लगा दी है। लिहाजा शासन ने राजस्व परिषद को अब नए सिरे से आयोग को भर्ती प्रस्ताव भेजने का निर्देश दिया है जिसमें इंटरमीडिएट उत्तीर्ण ही अनिवार्य शैक्षिक योग्यता होगी।