नई दिल्ली। कांग्रेस ने केंद्र की मोदी सरकार पर 45 हजार करोड़ रुपये के घोटाले को छुपाने का आरोप लगाया है। पार्टी के प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि सीएजी ने ये गड़बड़ी पकड़ी है, लेकिन केंद्र की सरकार इस मामले में शामिल कंपनियों को बचाने में लगी है।
सुरजेवाला ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का करप्शन पर जीरो टॉलरेंस और न खाऊंगा न-खाने दूंगा का नारा खोखला है। मोदी सरकार 45 हजार करोड़ रुपये के टेलीकॉम घोटाले को छुपाना चाहती है। सीएजी जांच में ये बात साबित हुई है। मोदी सरकार छह टेलीकॉम कंपनियों से बकाया लेने की बजाय और जुर्माना ठोंकने के बजाय उन्हें बचाने में लगी है।
सुरजेवाला ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का करप्शन पर जीरो टॉलरेंस और न खाऊंगा न-खाने दूंगा का नारा खोखला है। मोदी सरकार 45 हजार करोड़ रुपये के टेलीकॉम घोटाले को छुपाना चाहती है। सीएजी जांच में ये बात साबित हुई है। मोदी सरकार छह टेलीकॉम कंपनियों से बकाया लेने की बजाय और जुर्माना ठोंकने के बजाय उन्हें बचाने में लगी है।कांग्रेस ने केंद्र की मोदी सरकार पर 45 हजार करोड़ रुपये के घोटाले को छुपाने का आरोप लगाया है। कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि सीएजी ने ये गड़बड़ी पकड़ी है, फिर भी कार्रवाई नहीं हो रही।सुरजेवाला ने कहा कि 1999 में बीजेपी द्वारा टेलीकॉम लाइसेंसिंग पॉलिसी लागू की गई जिसके तहत टेलीकॉम कंपनियों को स्पेक्ट्रम इस्तेमाल करने के चार्ज का हिस्सा सरकार के साथ शेयर करना था। केंद्र सरकार को सही हिस्सा मिले ये देखना सीएजी का काम है। सीएजी ने ये जांच शुरू की कि क्या टेलीकॉम कंपनियों ने अपनी इनकम कम दिखाई है।
सुरजेवाला ने कहा कि ऑडिट के दौरान निजी टेलीकॉम कंपनियों ने कहा कि उनके अकाउंट की जांच सीएजी नहीं कर सकती। सीएजी ने जांच में पाया है कि इन कंपनियों ने 2006 से 2010 तक अपनी इनकम 46 हजार 45 करोड़ कम बताई है। लेकिन मोदी सरकार ने फिर से ऑडिट कराने का फैसला किया है।