यूपी में अफसरों का ट्रांसफर और पोस्टिंग मजाक बन कर रह गई है। किसी अफसर को पता नहीं कि वो कितने दिन या कितने घंटे नए पद पर तैनात रहेगा। कुर्सी पर बैठ भी पाएगा या कुर्सी संभालने से पहले ही दूसरा तबादला आदेश थमा दिया जाएगा। जबरदस्त भ्रम की ये हालात निचले स्तर पर ही नहीं मुख्यमंत्री कार्यालय तक बनी हुई है। उत्तर प्रदेश सरकार ने शुक्रवार आधी रात को एक बार फिर बड़े पैमाने पर प्रशासनिक फेरबदल करते हुए भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के दो एवं प्रांतीय प्रशासनिक सेवा (पीसीएस) के 109 अधिकारियों के तबादले के आदेश जारी किए। सूत्रों की मानें तो मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के हर फैसले में मुलायम सिंह यादव दखल दे रहे हैं। मुलायम के करीबी रामगोपाल यादव, आजम खां, शिवपाल यादव और सचिव मुख्यमंत्री अनीता सिंह भी अहम भूमिका अदा कर रही हैं। अफसरों की भीड़ इन्हीं लोगों के इर्द-गिर्द मंडराती रहती है। यही वजह है कि फैसले पलटे जा रहे हैं और पोस्टिंग बदली जा रही हैं।
यूपी में पिछले 22 दिन में 978 तबादले हुए आला अफसरों की तैनाती मजाक बन गई है। 28 मार्च की रात संजय अग्रवाल को मुख्यमंत्री का प्रमुख सचिव बनाया गया पर सुबह जागने से पहले उनका नाम वेटिंग लिस्ट में डाल दिया गया। 4 दिन बाद उन्हें प्रमुख सचिव स्वास्थ्य बना दिया गया। प्रमुख सचिव परिवहन माजिद अली को ऊर्जा विभाग का प्रमुख बनाने के कुछ घंटों बाद ही हटा दिया गया। 4 दिन बाद उन्हें सौंपी गई सहकारिता की कुर्सी। राजन शुक्ल को औद्योगिक विकास विभाग का सचिव बनाया गया लेकिन 2 दिन बाद ही उन्हें सिंचाई विभाग का सचिव बना दिया गया। बुलंदशहर की डीएम कामिनी रतन चौहान को पहले डीएम प्रतापगढ़ और फिर ट्रेड टैक्स का अपर आयुक्त बनाया गया। सिविल सप्लाई कमिश्नर संतोष यादव मेरठ के कमिश्नर बने और 5 दिन बाद गाजियाबाद विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष। इसी तरह जावेद अख्तर को पहले मध्य जोन PAC का आईजी बनाया गया। 8 दिन बाद गोरखपुर का आईजी और 3 दिन बाद आगरा का आईजी बना दिया गया।
फेरबदल की फेहरिस्त काफी लंबी है। मायावती के कैबिनेट सचिव रहे शशांक शेखर सिंह के स्टाफ अफसर एसपी गोयल पहले वेटिंग में रहे, फिर सचिवालय में सचिव बना दिए गए और फिर उन्हें वेटिंग में डाल दिया गया। नवनीत सहगल पहले राजस्व विभाग इलाहाबाद भेजे गए और फतेह बहादुर सिंह धर्मार्थ विभाग। फिर दोनों के विभागों में अदला बदली कर दी गई। प्रशांत कुमार तो 8 घंटे में एसपी उन्नाव, वाराणसी और सीतापुर तीनों बन गए।
गृह मंत्रालय द्वारा शुक्रवार देर रात जारी बयान में तबादलों की जानकारी दी गई। जिन दो आईएएस अधिकारियों के तबादले किए गए हैं उनमें संयुक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी अनिता मेश्राम को विशेष सचिव अल्पसंख्यक कल्याण की जिम्मेदारी सौंपी गई है जबकि आजमगढ़ के ज्वाइंट मजिस्ट्रेट सूर्यपाल गंगवार को बदायूं का मुख्य विकास अधिकारी बनाया गया है।