बाल कल्याण समिति को आश्रम में मिले दो दर्जन नाबालिग मासूम

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फर्रुखाबाद: बाल कल्याण समिति ने सिटी मजिस्ट्रेट के सर्च बारंट पर आध्यात्मिक केंद्र पर छापा मारकर केंद्र में मौजूद २४ नवालिग़ किशोरियों की कोई लिखा पड़ी नहीं पायी गयी व संस्था का कोई रजिस्ट्रेशन नहीं पाया गया|

शहर कोतवाली सिकत्तर बाग़ स्थित आध्यात्मिक केंद्र पर बाल कल्याण समिति के छापे के बाद बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष एम एच सिद्दीकी ने बताया कि आश्रम का कोई रजिस्ट्रेशन नहीं है| किशोरियों को अवैध रूप से रखे हुए हैं| छापे के दौरान २४ किशोरियां का अभिलेखों में कोई नाम व पता दर्ज नहीं है| जिनकी उम्र ५ वर्ष से लेकर १७ वर्ष तक है| दो परिजन किशोरियों को अपनी लड़की बता रहे थे| परन्तु जब किशोरियों से बात कराई गई तो उन्होंने परिजनों को पहचानने से इनकार कर दिया|

श्री सिद्दीकी ने बताया कि आश्रम में मानक के अनुसार कोई कार्य नहीं हो रहा है| सभी किशोरियों को पहले से ही सिखा दिया जाता है कि लोगों से क्या बात करनी है| जब उनसे पूंछा गया कि तो उन्होंने बताया कि यहाँ सारी सुविधाएं मिल रही हैं| परन्तु स्थिति बिल्कुल विपरीत पायी गयी| आश्रम कोई भी अभिलेख नहीं दिखा पाया| जिससे यह सिद्ध होता है कि किशोरियां अवैध तरीके से रखी जा रही हैं| किशोरियों को कोई भी किताबी ज्ञान नहीं है|

आश्रम में बाल कल्याण समिति के पांच सदस्यों के साथ दो किशोर न्याय बोर्ड के अधिकारियों ने प्रवेश किया| सिटी मजिस्ट्रेट के सर्च बारंट में पुलिस व मीडिया को प्रवेश की अनुमति नहीं दी गयी|