फर्रुखाबाद: लखनऊ में डेरा डाले आरपी डिग्री कालेज के स्थानीय व्यवस्थापक के पति अश्वनी कुमार ने बताया कि उनको छात्रों के प्रवेश पत्रों के विषय में अंतिम समय तक अंधेरे में रखा गया, वह इसकें विरोध में उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटायेंगे।
बुधवार को कमालगंज आरपी डिग्री कालेज में प्रवेशपत्र न मिलने के कारण छात्रों द्वारा रोड जाम व तोड़ फोड़ किये जाने के बाद कालेज प्रबंधक के पति ने लखनऊ में डेरा डाल दिया है। घटना के सम्बंध में प्रशासन से लेकर उच्च शिक्षा अधिकारी तक चुप्पी साधे हैं। कार्रवाई के नाम पर गेंद विश्वविद्यालय के पाले में सरका दी गयी है। छत्रों व कालेज की ओर से एक दूसरे के विरुद्ध एफआईआर दर्ज करने के बाद से पुलिस भी हाथ पर हाथ धरे बैठी है। मामला हाई प्रोफाइल व तकनीकी होने के कारण अब पुलिस भी यूनिवर्सिटी की ओर से किसी कार्वाई का इंतिजार कर रहीं है। कुल मिला कर बीएड के लगभग एक सैकड़ा छात्रों का भविष्य तो अंधकारमय बना हुआ है। कालेज प्रबंधन वसूली के आरोपों का खंडन तो करता है परंतु छात्रों की उपस्थिति समय से न भेजे जाने के विषय में उसके पास भी कोई जवाब नहीं है। कालेज प्रबंधक या व्यवस्थापक उषा देवी के पति अश्वनी कुमार ने बताया कि छात्रों की उपस्थिति के विषय में कालेज की तरफ से एक हलफनाम दिया जा चुका है।
उन्होंने बताया कि कानपुर विश्वविद्यालय प्रशासन ने अंतिम समय तक उनको अंधेरे में रखा व ठीक परीक्षा के दिन इस आशय की सूचना फैक्स के माध्यम से दी। उन्होंने कहा कि यदि परीक्षा स्थगित की जानी थी तो इसकी सूचना कम से कम एक दिन पूर्व ही दी जा सकती थी, जिससे छात्रों को ससमय सूचित किया जा सकता। उन्होंने कहा कि पूरी कार्रवाई राजनैतिक दबाव में की गयी है। वह इसके विरोध में उच्च न्यायालय की शरण में जायेंगे।