लखनऊ: उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने शासकीय कार्यों के जल्द से जल्द पूरा करने के लिये कार्यालयों में अधिकारियों और कर्मचारियों की समय से उपस्थिति सुनिश्चित कराने के निर्देश दिए हैं। शासन की सख्ती के बाद भी सरकारी कर्मचारी अपने काम करने का ढंग नहीं बदल रहे हैं। इसका कारण जनता को काफी काठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। अब सरकार ने सख्ती बढ़ाते हुए कार्यालयों में औचक निरीक्षण करने की जिम्मेदारी तय कर दी है और अनुपस्थित मिलने पर कार्रवाई करने के लिए कहा गया है।
यूपी के सरकारी कार्यालयों का ढर्रा सुधारने को लगातार प्रयास हो रहे हैं। पत्रावलियों के निस्तारण की समय सीमा पहले ही निर्धारित की जा चुकी है। अब मुख्य सचिव आरके तिवारी ने आदेश जारी किया है कि अधिकारी-कर्मचारियों की हाजिरी का औचक निरीक्षण किया जाए। जहां ज्यादा कार्मिक अनपुस्थित मिलते हैं, वहां पर्यवेक्षणीय अधिकारी भी नियुक्त किए जाएं।
राज्य के मुख्य सचिव राजेंद्र कुमार तिवारी बुधवार को इस संबंध में आदेश जारी करते हुए कहा है कि सभी मंडलायुक्तों और जिलाधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने जिलों के कार्यालयों में सप्ताह में कम से कम एक बार समय से उपस्थिति का औचक निरीक्षण जरूर करें। इस दौरान अनुपस्थित मिलने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करें।
इसके अलावा जिन कार्यालयों में अधिक संख्या में अधिकारी और कर्मचारी अनुपस्थित मिलें तो वहां पर्यवेक्षणीय अधिकारी का दायित्व भी निर्धारित किया जाए। मुख्य सचिव ने कहा है कि इसी प्रकार शासन स्तर पर समस्त अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सचिव को भी अपने विभागों के कार्यालयों का औचक निरीक्षण कर अनुपस्थित अधिकारी और कर्मचारियों के विरुद्ध नियमानुसार कार्रवाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।