नई दिल्ली: निर्भया के चारों दोषियों की फांसी पर रोक लगाने वाली याचिका दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट द्वारा खारिज होने पर परिजनों में भारी निराशा है। कुछ देर पहले ही दोषी मुकेश के परिजन उससे मुलाकात के लिए तिहाड़ जेल पहुंचे हैं। माना जा रहा है कि तिहाड़ जेल प्रशासन उनकी मुलाकात के लिए नियमों के मुताबिक, कदम उठाएगा।
वहीं, फैसला आने के बाद निर्भया की मां कोर्ट के बाहर निकलने पर रो पड़ीं। अपनी प्रतिक्रिया में उन्होंने कहा कि अब 7 साल बाद जाकर उनकी बेटी को न्याय मिलने जा रहा है। इससे पहले बृहस्पतिवार को कोर्ट ने दोषियों की फांसी पर रोक लगाने की मांग खारिज कर दी। कोर्ट के इस फैसले के बाद शुक्रवार सुबह 5:30 बजे चारों दोषियों विनय कुमार शर्मा, पवन कुमार गुप्ता, मुकेश सिंह और अक्षय कुमार सिंह को तिहाड़ जेल संख्या-3 में फांसी दी जाएगी। वहीं, कोर्ट के फैसले पर दोषियों के वकील ने कहा है कि इन्हें भारत-पाकिस्तान बॉर्डर पर भेज दो या फिर डोकलाम (भारत-चीन बॉर्डर) भेज दो, लेकिन फांसी मत दो। वे भारत-पाक या फिर चीन-भारत बॉर्डर पर देश की सेवा ही करेंगे। साथ ही कहा कि वे इस बाबत एक एफिडेविट भी देंगे।
इससे पहले पटियाला हाउस कोर्ट ने लंच के बाद सुनवाई रोक दी थी। दरअसल, इस मामले में नया मोड़ आ गया था, क्योंकि एक दोषी मुकेश में जेल प्रताड़ना के मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है, जिस पर बृहस्पतिवार को ही सुनवाई होनी है। वहीं, पटियाला हाउस कोर्ट के जज धर्मेंद्र राणा सुप्रीम कोर्ट के फैसले का इंतजार कर रहे थे।मिली जानकारी के मुताबिक, दोषी मुकेश ने तिहाड़ जेल में प्रताड़ना के आरोप की जो अर्जी सुप्रीम कोर्ट में दी है। माना जा रहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने में अगले कुछ घंटे का समय लगेगा।
इससे पहले दोनों पक्षों की बहस के बाद जज ने लंच से पहले फैसला सुरक्षित रख लिया था, लेकिन फिलहाल फैसला रोक दिया गया है।
वहीं, सुनवाई के दौरान डेथ वारंट पर रोक लगाने वाली याचिका पर दोषियों के वकील एपी सिंह से अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश धर्मेंद्र राणा ने पूछा कि ऐसा कोई कानून बताएं जो इस मौके पर डेथ वारंट पर रोक लगाने में सक्षम हो। है कुछ ऐसा? इससे पहले दोषियों के वकील ने अक्षय कुमार सिंह की पत्नी पुनीता की तलाक की याचिका, इंटरनेशनल कोर्ट में याचिका लंबित होने की बात कोर्ट में कही। सुनवाई के दौरान दोषियों के वकील ने कोर्ट में जानकारी दी कि इंटरनेशनल कोर्ट में याचिका दायर की गई है, लेकिन कोरोना की वजह से सुनवाई नहीं हो पा रही है।
लोक अभियोजक ने दोषियों के वकील को लेकर कहा कि एपी सिंह हजारों अर्जियां दाखिल करें, लेकिन यह सब कानूनी विकल्प नहीं हैं। दोषियों के सभी विकल्प खत्म हो चुके हैं। कल के लिए तय फांसी नहीं रोकी जा सकती।
थोड़ी देर पहले शुरू हुई सुनवाई कुछ देर के लिए टाल दी गई है, क्योंकि दोषी मुकेश ने सुप्रीम कोर्ट में एक नई याचिका दायर कर जेल में प्रताड़ना का आरोप लगाया है और जांच की मांग की है। कुछ देर पहल ही पवन गुप्ता की क्यूरेटिव पिटीशन को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है। लोक अभियोजक ने यह जानकारी पटियाला हाउस के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश धर्मेंद्र राणा को दी है। अब फांसी रोकने की अर्जी पर सुनवाई शुरू होगी, दरअसल सुप्रीम कोर्ट में दायर अर्जी पर सुनवाई का इंतजार कोर्ट को भी था, क्योंकि अर्जी पर बिना फैसला आए सुनवाई को मतलब नहीं होता। यहां पर बता दें कि दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट द्वारा जारी डेथ वारंट के मुताबिक, शुक्रवार सुबह चारों दोषियों (विनय कुमार शर्मा, पवन कुमार गुप्ता, मुकेश सिंह और अक्षय कुमार सिंह) को फांसी दी जाएगी। डेथ वारंट के अनुसार, शुक्रवार सुबह 5:30 बजे चारों दोषियों को तिहाड़ जेल संख्या- 3 में फांसी दी जाएगी।