फर्रुखाबाद: ईद-ए-जहरा के साथ शिया समुदाय में खुशियां लौट आई हैं। शादी-विवाह का दौर शुरू होने को है। सात दिसंबर से सहालग शुरू हो जाएगी, जो रमजान तक रहेगी। चंद दिनों में शादी को लेकर घरों में रौनक बढ़ जाएगी। सहालग को लेकर पहले से ही मैरिज हॉल की बुकिंग करा ली गई थी। इसलिए शहर के अधिकांश मैरिज हॉल फुल हो चुके हैं।
सवा दो महीने गम मनाने के बाद इस्लामिक माह रबीउल अव्वल की नौ तारीख से घरों में खुशियां बिखर गई। 17 रबीउल अव्वल (सात दिसंबर) को पैगंबर-ए-इस्लाम हजरत मुहम्मद साहब की यौम-ए-पैदाइश से शिया समुदाय में सहालग का सिलसिला शुरू हो जाएगा। सात दिसंबर को सबसे ज्यादा शादियां होंगी। मुहर्रम से पहले जिन घरों में शादियां तय हो चुकी हैं, वहां जल्द ही शहनाई सुनाई देगी। शिया समुदाय में शादियों का जश्न शाबान तक जारी रहेगा।
बस शहादत की तारीखों में शादियां नहीं होंगी, बाकी सभी दिन सहालग तेज रहेगी। सबसे अधिक शादियां रजब व शाबान माह में होंगी। मरकजी शिया चांद कमेटी के अध्यक्ष मौलाना सैफ अब्बास नकवी ने बताया कि मुहर्रम के बाद शादी-विवाह, शहनाई व अकीके का सिलसिला तेज हो जाएगा, जो रमजान तक जारी रहेगा। इमाम व अहलेबैत की शहादत की तारीखों पर शादियां नहीं होंगी। सहालग में 17 रबीउल अव्वल, 13 रजब व तीन शाबान की तारीखों में सबसे अधिक शादियां होती हैं।
शिया समुदाय ने मनाई खुशियां
शिया समुदाय ने बुधवार को ईद-ए-जहरा का त्योहार मनाया। कर्बला के शहीदों के गम में सवा दो महीने आंसू बहाने के बाद लोगों ने खुशियां मनाई। समुदाय के लोगों खासकर महिलाओं ने खुशरंग लिबास पहने और श्रृंगार किया। लोगों ने एक दूसरे के घर जाकर नज्र चखी। मेहमान नवाजा का सिलसिला जारी रहा।