नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने वैसे सरकारी कर्मचारियों को नियमित ट्रांसफर से छूट देने को कहा है, जिनके बच्चे शारीरिक और मानसिक रूप से विकलांग हैं। कार्मिक विभाग ने इस बाबत सभी मंत्रालयों और विभागों को निर्देश जारी किए हैं।
निर्देशों में कहा गया है कि विकलांग बच्चों के माता-पिता (जो भी केंद्रीय कर्मचारी हों) ही मुख्य रूप से उनकी देखभाल करते हैं। ऐसे कर्मचारियों के तबादले से नए वातावरण में बच्चों के शारीरिक पुनर्वास पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा जो उसके विकास में बाधक सिद्ध हो सकता है। लिहाजा, ऐसे कर्मचारियों को नियमित तबादले से छूट दी जा सकती है।
साथ ही कहा गया है कि शारीरिक तौर पर अक्षम बच्चों की शिक्षा-दीक्षा और पुनर्वास के लिए वित्तीय सहायता जरूरी है। ऐसे में इन बच्चों के मां-बाप को नियमित ट्रांसफर के बदले स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेने के लिए मजबूर नहीं किया जा सकता। इस तरह की कार्रवाई से बच्चों की पुनर्वास प्रक्रिया पर विपरीत प्रभाव पड़ सकता है।
कार्मिक विभाग द्वारा जारी निर्देश में दृष्टिहीनता या कमजोर नजर, बहरापन, चलने-फिरने में असमर्थता या दिमागी लकवा, कुष्ठ रोग, मानसिक बीमारी आदि को विकलांगता की श्रेणी में रखा गया है। सरकार ने यह कदम सरकारी कर्मचारियों की मांग की पड़ताल के बाद उठाया है।