फर्रुखाबाद: मतों की गिनती के लिए भी चुनाव आयोग बेहद संवेनशील है| 12 मई के आखिरी चरण के मतदान के बाद चुनाव आयोग का पूरा फोकस ही मतगणना पर हो जायेगा| आयोग के नए निरसेध के बाद अब निर्वाचन अधिकारी और सहायक निर्वाचन अधिकारी भी मतगणना पंडाल में साइलेंट मोड पर मोबाइल रख सकेंगे| इससे पहले सिर्फ आब्जर्वर को ही आयोग ने मतगणना पंडाल में मोबाइल रखने के निर्देश दिए थे|
मतों की गिनती सबसे पहले पोस्टल बैलेट की होगी| पोस्टल बैलेट की गिनती शुरू होने के आधे घंटे के बाद ही मशीनो के वोटो की गिनती का काम शुरू हो सकेगा| इधर भाजपा और कांग्रेस के प्रत्याशियों ने चुनाव आयोग से वोटो की गिनती सीसीटीवी की अनकट वीडियो रिकॉर्डिंग के साथ कराये जाने की मांग भी भेजी है| इस संबंध में पिछले सप्ताह ही भाजपा प्रत्याशी मुकेश राजपूत ने पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के साथ राज्य के चुनाव आयुक्त उमेश सिन्हा से मुलाकात कर मतगणना में पारदर्शिता बनाये रखने का अनुरोध किया था| भाजपा प्रत्याशी मुकेश राजपूत ने बताया कि उन्होंने उमेश सिन्हा से मतगणना सबंधित कई मानगो का का एक मांग पत्र भी सौपा था|
सभासद, प्रधान या कोई भी जनप्रतनिधि भी मतगणना एजेंट बन सकता है बशर्ते उसे कोई सरकारी सुरक्षा न मिली हो| सरकारी सुरक्षा प्राप्त कोई भी व्यक्ति मतगणना एजेंट नहीं बन सकता है|
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