FARRUKHABAD : शहर कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला नारायनदास साहबगंज निवासी विपिन कुमार शुक्ला ने शहर कोतवाली पुलिस को 12 नवम्बर को प्रार्थनापत्र दिया था। जिसमें कहा गया था कि तीस साल से मकान में किरायेदार है और उसमें प्रिंटिंग प्रेस लगा रखी है। पूर्व के मकान मालिकों के मुख्तियारनामा के आधार पर डा0 हरिदत्त द्विवेदी ने अपनी पत्नी के नाम फर्जी बैनामा करा लिया और उससे मकान खाली करने का दबाव बनाने लगे। जिससे उन्हें जान माल का खतरा है। लेकिन पुलिस ने इस प्रार्थनापत्र पर कोई कार्यवाही नहीं की और न ही कोई संज्ञान लिया। जिस पर एएसपी रामभवन चौरसिया ने जांच कराने की बात जेएनआई से कही है।
विदित हो कि विपिन कुमार शुक्ला ने कोतवाली पुलिस को अपनी 12 नवम्बर को दी गयी तहरीर में कहा था कि उसका अदालत में मुकदमा चल रहा है और इस पर स्टे भी है। डा0 हरिदत्त द्विवेदी बिना विधिक प्रक्रिया अपनाये गैर कानूनी ढंग से व नेतागीरी का सहारा लेकर मकान खाली करवाने पर उतारू हैं। उन्होने विपिन कुमार के मकान के किनारे तीन फिट चौड़ी निहास खोद दी और उसमें पानी भर दिया। जिससे उसके मकान के गिरने का खतरा बढ़ गया है। विपिन कुमार शुक्ला ने मामले की जानकारी पुलिस अधीक्षक जोगेन्द्र कुमार को भी दी थी।
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लेकिन इसके बावजूद भी 12 नवम्बर से 14 नवम्बर तक दो दिन की अवधि में कोतवाली पुलिस टस से मस नहीं हुई और न ही आरोपियों पर शिकंजा कसने के लिए कोई कार्यवाही की। पुलिस चाहती तो 12 नवम्बर को ही मामले को संज्ञान में लेते हुए इस घटना को बचा सकती थी। लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
इस सम्बंध में जेएनआई की खबर का संज्ञान लेते हुए अपर पुलिस अधीक्षक रामभवन चौरसिया ने जेएनआई को बताया कि कोतवाली में तहरीर आने के बाद दो दिन तक कोई कार्यवाही न करने के मामले की शीघ्र जांच करायी जायेगी। दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्यवाही होगी।