फर्रुखाबाद: बालू खनन में स्थानीय माफियाओ का अंत अब करीब आ गया है| बालू डम्प का ठेका इटावा जनपद के ठेकेदार मनोज यादव के था चले जाने से जनपद में स्थानीय विधायको के संरक्षण में चल रहा अवैध बालू खनन अब अंतिम सांसे गिन रहा है| वैसे इस बात का दावा नहीं किया जा सकता कि अवैध खनन बंद हो जायेगा बस अब लोकल माफियाओ और उनके संरक्षक आकाओ की इनकम में सेंध जरुर लग जायेगी| इसी क्रम में आज इटावा के नए ठेकेदार मनोज यादव अपने 10-15 हथियार बंद साथियो के साथ नए खनन निरीक्षक पंकज कुमार के साथ कमालगंज की गंगा की कटरी क्षेत्र में पहुचे और 6 ट्रैक्टर अवैध बालू खनन करते पकडे| ठेकेदार और खनन अधिकारी की गाड़ी फस जाने से 4 ट्रैक्टर भागने में कामयाब हो गए मगर दो को दबोच लिया गया| खनन अधिकारी ने दोनों ट्रैक्टरों को पकड़ कर कमालगंज थाने में अवैध खनन का मामला दर्ज कराया है|
वहीँ ट्रैक्टरों के पकडे जाने के बाद इलाकाई सत्ता धारी दल के नेताओ ने पुलिस पर जमकर दबाब बनाकर ट्रैक्टर छोड़ने के लिए कहा किन्तु मामला सीधा सीधा इटावा और यादव परिवार का होने के कारण स्थानीय नेताओ की पैरवी बौनी नजर आयी| अब कुर्सी तो इटावा के इशारे पर मिलती है न कि कमालगंज के इशारे पर|
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फिलहाल बालू के अवैध खनन में एक नयी जंग देखने को मिलने वाली है| उपभोक्ताओ पर कुछ वजन भी ज्यादा पड़ सकता है| सब कुछ वैसा ही होने जा रहा है जैसा बसपा सरकार में अडंगा एंड कम्पनी का माफियाबाद पूरे प्रदेश में फ़ैल गया था| और तब सपा वाले इसे भ्रष्टाचार कह कर कोस रहे थे|
खबर लिखे जाने तक दोनों ट्रैक्टर पुलिस शिकंजे में पहुच गए थे| स्थानीय बालू माफियाओ का कब्ज़ा बेदखल करने को नए ठेकेदार के साथ सरकार भी गयी थी| कुछ दिनों पहले ऐसा ही प्रयास राम गंगा कमांड की भू संरक्षण योजना में मैनपुरी के ठेकेदारो ने किया था तब स्थानीय विधायक के पुत्र पर बाहरी ठेकेदारो को खदेड़े जाने का आरोप लगा था| मगर अबकी बार इटावा का ठेकेदार कुछ अच्छी तैयारी से बेदखली करने आया लगता है|