लखनऊ: खबर आ रही है कि हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने भी विश्व हिंदू परिषद की 84 कोसी परिक्रमा पर राज्य सरकार की रोक पर मुहर लगा दी है। शनिवार को राज्य सरकार द्वारा परिक्रमा पर लगाई गई रोक के विरोध में दर्ज की गई याचिका को बेंच ने यह कहते हुए खारिज कर दिया गया कि क्योंकि याची ने यह नहीं कहा कि यह परिक्रमा परंपरागत तौर पर होती आई है, इसलिए शुरुआती दौर में खारिज किया जा रहा है।
फैजाबाद के डीएम ने बताया है कि अयोध्या में हिंदू महासभा, विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के 50 नेता-कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया गया है। इसके अलावा, सूबे के छह जिलों की सीमाओं को भी सील कर दिया गया है। पुलिस और सुरक्षा बलों को सख्त निर्देश दे दिए गए हैं कि किसी भी कीमत पर इन संगठनों के लोगों को अयोध्या में न घुसने दिया जाए। केंद्र से मिले सुरक्षाबलों की कुछ और टुकड़ियां भी शुक्रवार राज फैजाबाद और आसपास के जिलों में तैनात कर दी गईं हैं।
इस दौरान, भले ही 84 कोसी परिक्रमा शुरू होने में अब 24 घंटे से भी कम वक्त बचा है लेकिन विहिप की तैयारियां अब भी जोरों पर हैं। इसके पहले, शुक्रवार रात मुख्य सचिव जावेद उस्मानी ने आनन-फानन में फैजाबाद के डीएम और एसएसपी को लखनऊ तलब कर हालात की समीक्षा की। बैठक के बाद पुलिस महानिदेशक देवराज नागर ने मीडिया को बताया कि परिक्रमा किसी हालत में नहीं निकलने दी जाएगी, किसी ने कोशिश की तो गिरफ्तारी होगी।
परिक्रमा मार्ग से संबंधित अन्य जिलों में भी जगह-जगह बैरीकेडिंग कर वाहनों की सघन तलाशी ली जा रही है। शनिवार शाम से सीमा पूरी तरह सील कर दी जाएगी। हालांकि, मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अफसरों को संतों के साथ किसी तरह का दुर्व्यवहार न किए जाने की खास हिदायत दी है। उन्होंने यह भी सुनिश्चित करने को कहा है कि आम लोगों को कोई दिक्कत न हो। इसके उल्लंघन पर उन्होंने कठोर कार्रवाई की चेतावनी दी है।
उधर, विहिप ने परिक्रमा के निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार, शुरू करने की बात दोहराते हुए सरकार को चेतावनी दी है कि उसने हठधर्मिता न छोड़ी तो गंभीर नतीजे होंगे। भाजपा ने भी सरकार पर एक वर्ग विशेष के वोट लेने के लिए हिंदू आस्था पर चोट पहुंचाने का आरोप लगाते हुए विहिप के साथ रहने का ऐलान किया।