FARRUKHABAD : बीते दिनों से नबावगंज थाना क्षेत्र के ग्राम परमनगर की अपह्रत की गयी किशोरी की बरामदगी मंत्री पुत्र की कोठी से होने के आरोपों के बाद गर्माये माहौल में शुक्रवार को सपा जिलाध्यक्ष राजकुमार सिंह राठौर खुल कर मंत्री के पक्ष में खड़े नजर आये। सपा कार्यालय में मीडिया कर्मियों से वार्ता के दौरान उन्होंने मंत्री नरेंद्र सिंह यादव व उनके पुत्र सचिन यादव का इस घटना से कोई सम्बंध न होने की बात कही। अपनी बात की पुष्टि के लिये उन्होंने वादी (किशोरी के पिता) के वकील अनिल सिंह यादव को भी अपने साथ बैठा रखा था। परंतु बाहर निकलते ही वकील ने श्री राठौर से असहमति जताते हुए पूरे प्रयास को विफल कर दिया।
विदित है कि थाना नवाबगंज के ग्राम परम नगर से विगत एक अप्रैल को किशोरवय युगल रहस्यमय ढंग से गायब हो गये थे। पुलिस ने दो दिन बाद किशोरी को आईटीआई के पास से बरामद दिखा दिया था। परंतु बरामदगी के बाद किशोरी के पिता ने पुलिस द्वारा दिखायी गयी बरामदगी को फर्जी बताते हुए आरोप लगाया था कि उसकी पुत्री को अपरण के दौरान मंत्री पुत्र की फर्रुखाबाद स्थित कोठी पर रखा गया। जिसके बाद अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में युवती के धारा 164 के बयान वीडियो कैमरे के सामने दर्ज कराये गये। किशोरी ने पिता के आरोपों की पुष्टि करते हुए उसे सचिन की कोठी पर लेजाये जाने व नामजद अपहृताओं द्वाररा फोन पर सचिन से बात किये जाने की भी पुष्टि की है। परंतु जानकारी के अनुसार किशोरी ने सचिन ने उस समय कोठी पर न होने की भी बात कही है। बयान के बाद अदालत ने किशोरी को उसके परिजनों के सुपुर्द कर दिया। घटना में मंत्री पुत्र का नाम आने के बाद पुलिस सक्रिय हो गयी। अदालत से लेकर किशोरी के गांव परमनगर तक खाकी ही नजर आ रही थी। फिलहाल किशोरी के गांव परमनगर छावनी बनी हुई है। कई सेक्शन पीएसी के अतिरिक्त पुलिस बल वहां मौजूद है।
मंत्री और पार्टी की हुई बदनामी के बाद आखिर शुक्रवार को पार्टी जिलाध्यक्ष राजकुमार सिंह राठौर मीडिया से रूबरू हुए। पार्टी जिलाध्यक्ष राजकुमार सिंह राठौर ने कहा कि मंत्री पुत्र की कोठी पर किसी भी किशोरी का कोई उत्पीड़न नहीं किया गया और न ही उसे पेट्रोल पिलाकर हत्या का प्रयास किया गया।उन्होंने कहा कि कुछ राजनीतिक लोग इसे तूल देने का प्रयास कर रहे हैं। पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि हो सकता है कि उनकी पार्टी के ही कुछ लोग इस कृत्य में अपने हाथ गंदे कर रहे हों।
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उल्लेखनीय है कि सपा पार्टी कार्यालय में सफाई देने के लिए सपा जिलाध्यक्ष के साथ वादी (किशोरी के पिता) के वकील अनिल यादव भी मौजूद थे। जिनको देखकर मीडियाकर्मी भी भौचक्के रह गये। मीडिया कर्मियों द्वारा अनिल यादव से सवाल किये जाने पर वह वहां पर तो नजरें झुकाये बैठे रहे परंतु सपा कार्यालय से बाहर निकल कर उन्होंने श्री राठौर की बातों का खंडन कर दिया। उन्होंने कहा कि उनको पार्टी बैठक में भाग लेने के बहाने से सपा कार्यालय में गुमराह करके बुलाया गया था। प्रेस-वार्ता की उनको जानकारी नहीं थी।