99.99 फ़ीसदी फर्रुखाबाद की जनता की पसंद बने डीएम मुथु स्वामी

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ये कमाल की खबर है| 8000 लोगो में सिर्फ 6 लोग नहीं चाहते की डीएम मुथु कुमार स्वामी फर्रुखाबाद में रहे| जेएनआई का किसी भी प्रशासनिक अधिकारी के लिए ये चौथा सर्वे है| लोकप्रियता में डीएम स्वामी ने सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए| जेएनआई के अब तक के हुए सभी सर्वे में से इस बार सबसे ज्यादा लोगो ने भाग लिया| संख्या इतनी बड़ी है कि पूरी रिपोर्ट वेबसाईट पर लिखने में दो दिन का वक़्त लग सकता है| मंगलवार देर रात 8.30 पर शुरू हुआ सर्वे बुधवार रात 8.30 पर ही बंद होगा| तब तक SMS प्राप्त किये जाते रहेंगे| अब तक का जो परिणाम है उसकी झलकियाँ-

बुधवार दोपहर दो बजे तक लगभग 8000 लोग अपना मत SMS से भेज चुके है| इनमे से केवल 6 लोग ही ऐसे हैं जो नहीं चाहते डीएम मुथु स्वामी जिले में रुके| सर्वे की गोपनीयता को हम बरक़रार रखेंगे और नकारात्मक वोट देने वालो की पहचान कतई नहीं खुलेगी ये हमारा वादा है| अलबत्ता 6 में से दो शिक्षा विभाग से 2 कोल्लेक्ट्रेट से व् 2 सपा नेता है|

इन सर्वे में जनता ने लिखा है कि वे अबकी आर पार की लड़ाई लड़ने को भी तैयार है| अगर मुथु स्वामी का तबादला हुआ तो वे सडको पर सरकार के फैसले के खिलाफ निकलने को तैयार है| कुछ ने लिखा है कि जरुरत पड़ी तो लखनऊ भी कूच करेंगे| एक रिटायर बैंक कर्मी राजेंद्र प्रसाद कहते है कि 1960 में महेंद्र डीएम के बाद कोई कायदे का डीएम आया है| कई विपक्षी राजनैतिक दलों के कार्यकर्ताओ और नेताओ ने भी डीएम स्वामी के प्रति विश्वास व्यक्त किया है| अधिकतर लोगो का कहना है कि वे मुख्यमंत्री से मांग करते है कि डीएम स्वामी को कम से कम तीन साल के लिए फर्रुखाबाद में रहना चाहिए| बसपा नेता राहुल कुशवाहा कहते है कि जिले से जड़ से भ्रष्टाचार मिटाना है तो डीएम स्वामी को तीन साल रोक दीजिये| सभी ने उनकी कार्यशैली को पसंद किया है सिवाय 6 के| SMS भेजने वाले अधिकतर आम आदमी है कारोबारी है, नौकरी पेशा के लोग है| कई महिलाओं ने भी मुथु स्वामी की कार्यशैली को पसंद किया है| यही नहीं कई शिक्षक भी बेसिक शिक्षा में व्याप्त भ्रष्टाचार को दूर करने की उम्मीद डीएम से रखते है ऐसा उन्होंने SMS में लिखा है|

कुछ लोगो ने दूसरो के भी विचार भेजे है| ऐसे लोगो ने डीएम के ट्रांसफर में रूचि लेने वालो को आड़े हाथो लिया है| ऐसे समस में लिखा गया है कि जिन कामचोरो, लुटेरो और भ्रष्ट सरकारी कर्मी और नेताओ की दुकाने बंद होने की कगार पर है वे ही इमानदार डीएम को हटाना चाहते है| छात्र नेता अजय दुबे लिखते है कि डीएम के तबादले की स्थिति में वे अपनी टीम के साथ आमरण अनशन के लिए तैयार है|

बहुत से अलग अलग विचार है मगर सबका एक ही मकसद है डीएम स्वामी जिले में रहे और भ्रष्टाचार को रोकने के उपाय करे| जनता उनके साथ है| आन्दोलन धरना प्रदर्शन और आमरण अनशन तक की जरुरत पड़ी उन्हें रोकने के लिए तो करेंगे|

पूरी डिटेल सर्वे बंद होने के बाद|