जेल प्रशासन बेखौफ हो कैदियों से करवा रहा खतरनाक काम

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फर्रुखाबादः केन्द्रीय कारागार फतेहगढ़ में उम्र कैद की सजा काट रहे कई सैकड़ा कैदियों से धारदार हथियार उनके हाथों में बेखौफ थमाकर प्रशासन काम तो वैसे भी कराता चला आ रहा है।लेकिन आज दंग रह जाने वाली तस्वीर उस समय सामने आयी जब एक कैदी हाथ में गढ़ासी लेकर पेड़ पर चढ़ गया। प्रशासन को उसके प्रति कतई संवेदनशीलता नजर नहीं आयी।

केन्द्रीय कारागार फतेहगढ़ के मुख्य द्वार पर बड़े-बड़े अक्षरों में कई वर्षों से लिखा है बंदी सुधार गृह फतेहगढ़। जिसमें आपराधिक किस्म के लोगों को सुधारने का काम किया जाता है। जिसके तहत जेल के अंदर काफी उद्योग धन्धे भी चलाये गये। जिनके माध्यम से जेल में जेल निर्माण के कुछ समय बाद ही अंग्रेजी शासन में उद्योगों के जरिये 1982 में एक करोड़ 34 लाख रुपये की आमदनी बंदियों द्वारा कारीगरी कर किये गये काम पर की गयी।

आज उसी जेल में कैदियों से वस्तुओं के उत्पादन में काम न कराकर वल्कि सजा याफ्ता कैदियों को धारदार हथियार थमाकर पेड़ों पर लकड़ी काटने के लिए चढ़ा दिया जाता है। किसी अप्रिय घटना से बेखौफ जेल प्रशासन कैदियों द्वारा धड़ल्ले से खतरनाक काम करा रहा है। मजबूरी में कैदी ऊंचे से ऊंचे पेड़ों पर चढ़कर गढासी से लकड़ी काट रहे हैं। जेल प्रशासन को उनकी जान की कोई परवाह नहीं है।

सुबह 8 बजे से 11 बजे तक,  दो बजे से सायं साढ़े चार बजे तक कैदियों को दो पालियों में काम करने के लिए बाहर निकाला जाता है। जिसमें वह सम्बंधित अधिकारी के घर पर जाकर झाड़ू, पोछा, वर्तन धोने का काम तो करते ही हैं। लेकिन उन्हीं सजायाफ्ता खूंखार कैदियों को अब जेल प्रशासन बेखौफ हो पेड़ों पर चढ़ाकर अपने आवासों पर खड़े पेड़ों की छंटाई भी कराने लगे हैं। इससे कभी भी कोई अप्रिय घटना होने से इंकार नहीं किया जा सकता। कुछ माह पूर्व जिला कारागार में राजेश नाम के बंदी ने पेड़ पर चढ़कर जो उत्पात मचाया था। उससे प्रशासन तो क्या आम जनता भी भली भांति अवगत है। जिसने पूरे जिला प्रशासन को हिला कर रख दिया था। इसके बावजूद भी जेल प्रशासन कैदियों को लेकर बिलकुल संवेदनशील नहीं है।

अब शिकायत भी किससे की जाये, आज जेएनआई के कैमरे में कैद किये गये चित्र में जो कैदी लकड़ी काट रहा है वह वरिष्ठ जेल अधीक्षक यादवेन्द्र शुक्ला का आवास है। जहां सुबह की पाली में काम करने आये कैदी को पेड़ पर चढ़ाकर हाथ में गढसा देकर लकड़ी कटवाई गयी।