सिपाही को तमाचा जड़ा, सपाइयों पर बरसीं लाठियां

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लखनऊ|| लखनऊ में हुए लाठीचार्ज के विरोध में मुख्यमंत्री का पुतला फूंक रहे सपाइयों पर पुलिस ने जमकर लाठियां बरसायीं। कार्यकर्ताओं ने भी पुलिस पर पथराव किया। कई पुलिसकर्मी भी पीटे गये।

आज मुख्यमंत्री मायावती के दौरे के चलते पुलिस अलर्ट थी। लखनऊ में हुए लाठीचार्ज के विरोध में प्रदर्शन करने के लिए कलेक्ट्रेट में सपा ने एक सभा आयोजित की थी। सपा के पूर्व सांसद व जिलाध्यक्ष पारसनाथ यादव अपने आवास से सैकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ कलेक्ट्रेट के लिए चले ही थे कि सीओ सिटी एनपी सिंह, नगर कोतवाल प्रदीप सिंह चंदेल समेत कई थानों की फोर्स ने उन सभी को घेर लिया।

पुलिस मौजूदगी में ही सपाई मायावती का पुतला फूंकने लगे। पुतला छीनने के प्रयास में पुलिस की कार्यकर्ताओं से हाथापाई शुरू हो गयी। पारसनाथ यादव कार्यकर्ताओं के ऊपर लाठी बरसते देख तिलमिला उठे और सिपाही को जोरदार तमाचा जड़ दिया। यह देख कोतवाल ने पारस यादव को धक्का दे दिया तो दोनों में हाथापाई होने लगी। फिर पुलिस ने कार्यकर्ताओं को दौड़ा-दौड़ाकर पीटना शुरू कर दिया।

सपा जिलाध्यक्ष पारसनाथ यादव समेत दजर्नों कार्यकर्ता लहूलुहान हो गये। गुस्साये कार्यकर्ताओं ने जेसीज चौराहे पर पहुंचकर चक्काजाम करने का प्रयास किया। पुलिस ने कार्यकर्ताओं को जबरन वाहनों में ठूंस कर गिरफ्तार किया। गुस्से में कार्यकर्ताओं ने पथराव कर पुलिस के दो वाहनों के शीशे तोड़ दिये।

गिरफ्तार कर सभी को जफराबाद थाने ले जाया गया। वहां भी कार्यकर्ताओं ने थाने का घेराव किया। इस पर पुलिस ने लाठी भांजकर खदेड़ दिया। जवाब में सपाइयों ने थाने पर पथराव भी किया। बाद में सिटी मजिस्ट्रेट की मौजूदगी में गिरफ्तार कार्यकर्ताओं को थाने से छोड़ दिया गया।

पारसनाथ यादव पर जब पुलिस लाठी चला रही थी तो जिला उपाध्यक्ष घनश्याम रघुवंशी ने उन्हें कवर कर लिया जिससे रघुवंशी को भी चोटें आयीं है। गुस्साये कार्यकर्ताओं ने पथराव करना शुरू कर दिया। पारसनाथ कार्यकर्ताओं को लेकर जेसीज चौराहे पर पहुंच गये और वहीं सड़क पर बैठ गये।

चक्काजाम करने के लिए बैठे कार्यकर्ताओं को पुलिस ने घसीटकर वाहनों में भर लिया। यहां भी भाग रहे कार्यकर्ताओं ने पथराव कर दिया। जानकारी होते ही एएसपी सिटी राहुल राज, सिटी मजिस्ट्रेट बाल मयंक मिश्र व जिले के दजर्नों थानों की पुलिस जेसीज चौराहे पर पहुंच गयी। एसपी एसके भगत पुलिस लाइन से खबर लेते रहे। कई वरिष्ठ नेताओं ने भी जाकर गिरफ्तारी दी।