नसीमुद्दीन और कुशवाहा पर मनी लांड्रिंग का केस

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nasimuddin siddiqueलखनऊ। पूर्व मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी और बाबू सिंह कुशवाहा की मुश्किलें थमती नहीं दिख रही हैं। नोएडा और लखनऊ के स्मारक निर्माण घोटाले में लोकायुक्त और सतर्कता अधिष्ठान की कार्रवाई के बाद अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने सिद्दीकी और कुशवाहा समेत 19 लोगों के खिलाफ धन शोधन निवारण अधिनियिम के तहत मुकदमा दर्ज किया है। इसके पहले नसीमुद्दीन सिद्दीकी पर ईडी ने आय से अधिक संपत्ति का भी मुकदमा दर्ज किया है।

ईडी की लखनऊ इकाई ने सोमवार को दोनों पूर्व मंत्रियों और घोटाले के आरोपी अफसरों के खिलाफ मनी लांड्रिंग का मुकदमा दर्ज किया। बसपा सरकार में लखनऊ और नोएडा में स्मारक निर्माण के घोटाले की जांच लोकायुक्त ने की थी। लोकायुक्त की सिफारिश के बाद राज्य सरकार ने सतर्कता अधिष्ठान को घोटाले के आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच करने का निर्देश दिया। सतर्कता अधिष्ठान ने एक जनवरी को लखनऊ के गोमतीनगर थाने में मुकदमा दर्ज कराया। जांच के दौरान सतर्कता अधिष्ठान ने ईडी को भी संबंधित दस्तावेज उपलब्ध कराये। इन्हीं दस्तावेजों के आधार पर ईडी ने यह मुकदमा पंजीकृत किया है। वैसे तो इस मुकदमे के घेरे में कुल 199 आरोपी हैं, लेकिन जिनके खिलाफ सतर्कता अधिष्ठान ने नामजद मुकदमा दर्ज कराया था, ईडी ने उन्हें ही अपनी सूची में में लिया है।

ईडी के अभियुक्त :

-नसीमुद्दीन सिद्दीकी-पूर्व मंत्री

-बाबू सिंह कुशवाहा- पूर्व मंत्री

-सुहेल अहमद फारुखी- जेडी खनन

-सीपी सिंह- पूर्व एमडी राजकीय निर्माण निगम (आरएनएन)

-राकेश चन्द्रा-अपर परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-एके सक्सेना- अपर परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-केआर सिंह- इकाई प्रभारी, आरएनएन

-राजीव गर्ग- स्थानिक अभियंता आरएनएन

-एसपी गुप्ता-परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-पीके जैन- परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-एके अग्रवाल-परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-आरके सिंह- परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-बीडी त्रिपाठी- इकाई प्रभारी आरएनएन

-मुकेश कुमार- परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-हीरालाल- परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-एसके चौबे-परियोजना प्रबंधक आरएनएन

-एसपी सिंह- इकाई प्रभारी आरएनएन

-एसके शुक्ला-इकाई प्रभारी आरएनएन

-मुरली मनोहर-इकाई प्रभारी आरएनएन।

तीन आइएएस अफसर भी आ सकते जांच के घेरे में :

ईडी की जांच के दायरे में अभी तीन आइएएस अफसर भी आयेंगे। इनमें एक सेवानिवृत्त हो गए हैं। जांच के दौरान वर्ष 2007 में तत्कालीन प्रमुख सचिव आवास और शहरी नियोजन मोहिन्दर सिंह, प्रमुख सचिव पीडब्लूडी रवीन्द्र सिंह और लखनऊ विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष हरभजन सिंह के खिलाफ अनियमितताएं मिली थी।

15 अरब के घोटाले के लिए जिम्मेदार :

सतर्कता विभाग ने लखनऊ के गोमतीनगर थाने में जो मुकदमा दर्ज कराया है, उसमें 15 अरब के घोटाले के लिए प्रमुख रूप से सिद्दीकी और कुशवाहा को जिम्मेदार ठहराया गया है। इसी रिपोर्ट को ईडी ने आधार बनाया है।

रिपोर्ट के मुताबिक तत्कालीन विभागीय मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी और बाबू सिंह कुशवाहा की संलिप्तता के कारण सारी अनियमितता जानबूझ कर सोद्देश्य कराई गयी। वित्तीय अनियमितता कर कुल 41 अरब 48 करोड़ 54 लाख का अनुमानित लगभग 34 प्रतिशत यानी 14 अरब दस करोड़ 50 लाख की राजस्व क्षति की गयी।

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