नई दिल्ली। सुनंदा पुष्कर की मौत को लेकर मचे घमासान में कूदते हुए भारतीय जनता पार्टी के नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मामले की सीबीआई से जांच कराने की मांग की। स्वामी ने कहा कि मैंने प्रधानमंत्री से सुनंदा पुष्कर की मौत की सीबीआई से जांच कराने की मांग करते हुए पत्र लिखा है।
कांग्रेस सांसद शशि थरूर की पत्नी सुनंदा पुष्कर 17 जनवरी को दक्षिण दिल्ली के एक पांच सितारा होटल के कमरे में संदिग्ध अवस्था में मृत पाई गईं थीं। इस मामले में असली विवाद अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के फारेंसिक विभाग के प्रमुख डॉ. सुधीर गुप्ता के इस बयान से पैदा हुआ कि पुष्कर की मौत को ‘स्वाभाविक’ दर्शाने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों ने उनपर दबाव डाला था। गुप्ता ने हालांकि आज कहा कि सुनंदा पुष्कर की पोस्टमार्टम रिपोर्ट चिकित्सा के सिद्धांतों और नैतिकता पर आधारित थी।
स्वामी ने कहा कि उन्होंने असल में प्रधानमंत्री से एक विशेष जांच दल (एसआईटी) गठित करने का आग्रह किया है जिसमें खुफिया ब्यूरो (आईबी) और प्रवर्तन निदेशालय के सदस्य भी शामिल किए जाएं।
पत्र में कहा गया है, “मैं आपसे केंद्रीय जांच ब्यूरो के तहत एक एसआईटी गठित करने का आग्रह करता हूं जिसमें न केवल आईबी और रॉ के प्रतिनिधि हों बल्कि इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए कि मौत की वजह आईपीएल घोटाले में काला धन को सफेद करने से संबंधित सूचना का खुलासा करने की धमकी भी हो सकती है। इस घोटाले में यूपीए की एक रसूखदार राजनीतिक हस्ती के दामाद की कथित संलिप्तता है।
इसमें यह भी कहा है कि केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण में गुप्ता द्वारा सौंपे गए शपथ पत्र से यह मामला दोबारा उठा है। इसलिए इन परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए एक एसआईटी जांच के लिए निर्देश दिया जाए।
बता दें कि एम्स प्रशासन ने डॉ. सुधीर गुप्ता द्वारा लगाए गए आरोपों का बुधवार को खंडन किया था।
इस बीच आज डॉ. गुप्ता ने यहां अपने आवास के बाहर संवाददाताओं को बताया कि मैं यह साफ कर देना चाहता हूं कि न केवल सुनंदा पुष्कर की बल्कि मेरे द्वारा तैयार हर एक पोस्टमार्ट रिपोर्ट चिकित्सा के सिद्धांतों और नैतिकता पर आधारित है। केवल इस मामले में नहीं, बल्कि हर मामले में मैंने सभी रिपोर्ट कानून और नैतिकता के आधार पर तैयार की है।
दिल्ली पुलिस के उपायुक्त भीमसेन बस्सी ने दोहराया कि अगर जरूरत हुई तो सुधीर गुप्ता से बात की जाएगी। उन्होंने कहा कि मामले की जांच होने दीजिए। जैसे ही जांच पूरी हो जाएगी, जो भी प्रासंगिक होगा वह किया जाएगा। मैं पहले ही कह चुका हूं कि अगर जरूरत हुई तो हम सुधीर गुप्ता से बात करेंगे और यदि किसी और से भी बात करना जरूरी हुआ तो उससे भी बात की जाएगी।
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